रोचक मुकाबले, जहां भाई-भाई, देवरानी-जेठानी और पति-पत्नी थे आमने सामने

 
नई दिल्ली 

झारखंड चुनावों के लिए धुआंधार प्रचार और 21 दिनों के दौरान पांच चरणों में 81 सीटों के लिए हुए मतदान के नतीजे की घड़ी आ गई है. नतीजों से पहले जीत के दावे दोनों ही तरफ से किए जा चुके हैं. आजतक माय इंडिया एक्सिस एग्जिट पोल के मुताबिक झारखंड में बीजेपी की दोबारा वापसी के आसार नहीं हैं. वहीं कांग्रेस-जेएमएम गठबंधन की सरकार बनती दिख रही है.

चुनाव परिणामों से पूर्व आपको बताते हैं कि राज्य में तमाम ऐसी सीटें भी थीं जिन पर काफी रोचक मुकाबला देखने को मिला. कहीं भाई के सामने भाई खड़ा था तो कहीं देवरानी को जेठानी चुनौती दे रही थी. इसके अलावा एक सीट पर तो पति-पत्नी जैसा रिश्ता भी आमने-सामने था.

देवरानी  के खिलाफ जेठानी

झारखंड के धनबाद जिले की झरिया विधानसभा सीट पर इस बार एक ही परिवार की दो बहुएं एक दूसरे के खिलाफ चुनावी मैदान में उतरी थीं, जिस वजह से इस सीट पर मुकाबला काफी रोचक हो गया था. झरिया सीट पर बीजेपी के संजीव सिंह का कब्जा था. लेकिन वह अपने चचेरे भाई नीरज सिंह की हत्या के आरोप में जेल में बंद हैं. ऐसे में बीजेपी ने इस बार संजीव सिंह की पत्नी रागिनी सिंह को प्रत्याशी बनाया तो वहीं कांग्रेस ने नीरज सिंह की पत्नी पूर्णिमा सिंह को मैदान में उतार दिया. रागिनी सिंह सिंह मेंशन से आती हैं, जबकि पूर्णिमा सिंह रघुकुल परिवार की बहू हैं. इस तरह से झरिया सीट पर देवरानी और जेठानी आमने-सामने चुनावी किस्मत आजमा रही थीं. अब आज देखना होगा कि जनता ने इस सीट से किसे अपना प्रतिनिधि चुना है.

 
भाई-भाई में लड़ाई

झारखंड के मांडू विधानसभा सीट पर भाई के खिलाफ भाई ने ही ताल ठोंकी थी. झारखंड मुक्ति मोर्चा के दिवंगत नेता टेकलाल महतो के दो बेटे जय प्रकाश और रामप्रकाश हैं. मांडू से जेएमएम से विधायक रहे जय प्रकाश बीजेपी का दामन थाम चुके हैं और कमल के निशान पर चुनावी मैदान में उतरे थे. ऐसे में जेएमएम ने उन्हीं के भाई राम प्रकाश पर दांव खेला था. इस तरह से मांडू की सियासी लड़ाई भाई बनाम भाई के बीच हो गई थी. 2014 के चुनाव में जयप्रकाश जेएमएम से मांडू सीट से विधायक चुने गए थे.

पति-पत्नी के बीच सियासी संग्राम

झारखंड की भवनाथपुर विधानसभा सीट पर सात फेरे लेकर एक-दूसरे का साथ निभाने की कसम लेने वाले पति और पत्नी एक दूसरे के खिलाफ चुनाव मैदान में उतरे थे. भवनाथपुर सीट पर मनीष सिंह और उनकी पत्नी प्रियंका देवी ने निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर नामांकन पत्र दाखिल किया था. ऐसे में देखना होगा कि चुनावी रणभूमि में कौन किसे मात देता है.

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