शिवराज ने दिया कंधा, पोते ने दी मुखाग्नि, राजकीय सम्मान के साथ हुआ गौर का अंतिम संस्कार

भोपाल
मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और बीजेपी के वरिष्ठ नेता बाबूलाल गौर का आज दोपहर में सुभाष नगर विश्राम घाट पर पूरे राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया। पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज और प्रदेशाध्यक्ष राकेश सिंह ने कंधा दिया और फिर उनके पोते ने आकाश ने मुखाग्नि दी। उनके अंतिम संस्कार में गोबर से बनी लकड़ियां इस्तेमाल की गयी। उनके पार्थिव देह के सामने गार्ड ऑफ ऑनर भी दिया गया

इसके पहले दोपहर 12 बजे भाजपा कार्यालय में अंतिम दर्शन के लिए उनकी पार्थिव देह को रखा गया। पूर्व सीएम के निधन पर आज मध्यप्रदेश में आधे दिन का अवकाश और तीन दिन का राजकीय शोक घोषित किया गया है।मुख्यमंत्री कमलनाथ  समेत कई दिग्गज नेता भी श्रद्धांजलि देने के लिए गौर के आवास पर पहुंचे थे।

बता दे कि बाबूलाल गौर  का लंबी बीमारी के बाद बुधवार सुबह निधन हो गया था।बाबूलाल गौर को भोपाल के एक निजी अस्पताल में वेंटिलेटर पर रखा गया था। 90 साल के बाबूलाल गौर काफी समय से बीमार चल रहे थे। डॉक्टरों के अनुसार, बाबूलाल गौर के फेंफड़ों में संक्रमण था। बुधवार सुबह हृदय गति रुकने से उनका निधन हो गया। मंगलवार को उनकी हालत और भी बिगड़ गई। ब्लड प्रेशर कम होने के साथ पल्स रेट भी गिर गया था। उनके निधन के बाद भाजपा में शोक की लहर छा गई है।

भाजपा के वरिष्ठ नेता गौर 2004-2005 में मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री रहे और अपनी परंपरागत गोविंदपुरा विधानसभा सीट से 10 बार चुनाव जीत थे। गौर का जन्म दो जून 1930 को उत्तर प्रदेश के प्रतापगढ़ में हुआ था।बाबूलाल गौर 23 अगस्त 2004 से 29 नवंबर 2005 तक मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री रहे। वे 1946 में राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ से जुड़ गए थे।  गौर आपात काल के दौरान 19 माह की जेल भी काट चुके हैं। 1974 में मध्यप्रदेश शासन द्वारा बाबूलाल गौर को गोवा मुक्ति आन्दोलन में शामिल होने के कारण स्वतंत्रता संग्राम सेनानी का सम्मान प्रदान किया गया था। वे शिवराज सिंह चौहान की सरकार में कैबिनट मंत्री भी रहे। गौर पहली बार 1974 में भोपाल दक्षिण विधानसभा क्षेत्र के उपचुनाव में जनता समर्थित उम्मीदवार के रूप में निर्दलीय विधायक चुने गए थे।

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