MP पर इस बार भी मानसून मेहरबान, धमाकेदार एंट्री के बाद दक्षिणी-पश्चिमी मानसून सक्रिय
भोपाल
मध्य प्रदेश पर इस बार भी मानसून मेहरबान है. अपनी धमाकेदार एंट्री के बाद दक्षिणी-पश्चिमी मानसून लगातार सक्रिय है. मानसून की पहली बारिश से प्रदेश के ज़्यादातर ज़िले सराबोर हो गए. इस बार प्रदेश में जून महीने में पिछले चार साल के मुकाबले सबसे ज़्यादा बारिश रिकॉर्ड की गयी है, लेकिन ग्वालियर-चंबल इलाका (जहां अभी उपचुनाव की सरगर्मी है) वहां मौसम का पारा हाई है. उस इलाके में अभी मानसून का इंतज़ार है.
मानसून इस बार मध्य प्रदेश में समय से पहले आ गया. प्रदेश में इसकी एंट्री तय समय से एक दिन पहले और राजधानी भोपाल में यह 4 दिन पहले आ धमका. बीते 10 साल का रिकॉर्ड अगर देखें तो पता चलता है कि जिस साल समय से पहले इसकी एंट्री होती है उस पूरे सीजन में ज्यादा बारिश होती है. समय से पहले ही बारिश का कोटा पूरा हो जाता है. भोपाल में भी मानसून के आने के साथ झमाझम बारिश की झड़ी लगी है.
जून माह में बारिश का कोटा 130.8 मिलीमीटर है, लेकिन इस साल अब तक 159.7 मिलीमीटर बारिश हो चुकी है. यानी बीते 4 साल में जून में अब तक की सबसे ज्यादा बारिश हुई है. इस महीने में प्री मानसून एक्टिविटी के तहत ज्यादातर जिलों में झमाझम बारिश हुई.
भोपाल में मानसून की दस्तक के साथ ही मौसम सुहावना हो गया है. घने काले बादल छाए और फिर झमाझम बारिश हुई. यहां इस सीजन की सबसे तेज बारिश दर्ज हुई. एक घंटे में 73.8 मिलीमीटर यानी 3 इंच पानी बरस गया. देर रात तक 3.45 इंच बारिश रिकॉर्ड की गयी. चार साल बाद जून महीने में भोपाल में ये सबसे ज्यादा बारिश है.
40 ज़िलों में बारिश की झड़ी
- भोपाल 91.6 मिमी
- गुना 10.6 मिमी
- शाजापुर 3.4 मिमी
- रायसेन 29.2 मिमी
- सीधी 6.6 मिमी
- होशंगाबाद 24.4 मिमी
- पचमढ़ी 2.9 मिमी
- टीकमगढ़ 2 मिमी
- उमरिया 4.9 मिमी
- सीहोर 78.2 मिमी
- विदिशा 60.2 मिमी