इंदौर की निजी कंपनी को भुगतान के लिए होमगार्ड और गृह विभाग आमने-सामने 

इंदौर 
इंदौर की निजी कंपनी लक्ष्मी ट्रेडिंग कंपनी को 39 लाख के भुगतान के लिए होमगार्ड और गृह विभाग आमने-सामने आ गए है। इसके लिए बुलाए गए टेंडर को तय मानक के अनुरुप सामग्री प्रदाय नहीं किए जाने के चलते टेंडर स्वीकार करने वाली समिति इसे निरस्त करने का निर्णय ले चुकी है। अब डीजी होमगार्ड ने गृह मंत्रालय को पत्र लिखकर कहा है कि टेंडर निरस्त करने का जो निर्णय लिया गया है उसे ही निरस्त करे और भुगतान किया जाए। लेकिन गृह विभाग समिति के निर्णय को निरस्त करने को तैयार नहीं है। अब यह विवाद गृह मंत्री बाला बच्चन के पास पहुंच गया है। 

सूत्रों के मुताबिक इंदोर की लक्ष्मी ट्रेडिंग कंपनी ने प्रदेशभर के होमगार्ड कार्यालयों पर जेट्टी सप्लाई करने के लिए टेंडर दिया था। प्रदेश में 39 लाख रुपए की जेट्टी प्रदाय की जाना है। निविदा की शर्तो से भिन्न सामग्री आने के कारण निविदा स्वीकार कर्ता समिति के अध्यक्ष वीके सिंह इस निविदा को निरस्त करने का निर्णय लिया है। 

 डीजी होमगार्ड महान भारत ने गृह मंत्रालय को पत्र लिखकर कहा है कि इसे एक विशिष्ट प्रकरण मानते हुए इस पर निर्णय लेना चाहिए। उन्होंने कहा है कि टेंडर स्वीकार कर्ता समिति ने निविा निरस्त करने के लिए जो प्रक्रिया अपनाई है वह त्रुटिपूर्ण है। इस आधार पर स्वीकार समिति द्वारा निविदा निरस्त की कार्यवाही निरस्त नहीं मानी जाएगी। उन्होंने स्वीकार कर्ता समिति के उस निर्णय को ही निरस्त करने की मांग की है जिसमें यह पूरा टेंडर निरस्त कर दिया गया है।

इधर गृह विभाग तय मानक के अनुरुप सामग्री नहीं होंने के कारण स्वीकार समिति के निर्णय से सहमत है और यह टेंडर निरस्त करने की तैयारी है। अब चूंकि विवाद हाईप्रोफाइल हो गया है इसलिए इसे अंतिम निर्णय के लिए गृह मंत्री बाला बच्चन के पास भेजा गया है। सूत्रों के मुताबिक मंत्री भी इस टेंडर को निरस्त करने के लिए सहमत है।

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