अखिलेश-माया ने बजट को बताया ‘जुमलेबाजी’

लखनऊ 
केंद्र की मोदी सरकार के अंतिम बजट के पेश होने के बाद बहुजन समाज पार्टी और समाजवादी पार्टी ने इसे जुमलों से भरा करार देते हुए जमीनी हकीकत से दूर बताया है। वित्तमंत्री पीयूष गोयल द्वारा लोकसभा में पेश किए गए अंतरिम बजट पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए मायावती ने कहा, 'सरकार का अंतिम और चुनाव पूर्व अंतरिम बजट जमीनी हकीकत और समस्याओं के समाधान से दूर एवं जुमलेबाजी वाला बजट है।’ एसपी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा, 'बीजेपी सरकार ने पिछले पांच वर्षों में 5-5 किलो करके खाद की बोरियों से जो निकाला है, अब उसी को वह 6 हजार रुपया बनाकर साल भर में वापस करना चाहती है।' 
 
बीएसपी प्रमुख मायावती ने एक बयान जारी कर कहा, ‘पिछले पांच वर्षों के कार्यकाल में देश में आर्थिक असमानता की खाई बढ़ी है। इससे धन और विकास कुछ मुट्ठीभर धनकुबेरों के हाथ में सिमट गया है। यह इस सरकार की विफलता के अलावा गरीब और किसान विरोधी होने को भी प्रमाणित करता है।’ मायावती ने कहा कि बीजेपी के बड़े वादों और दावों की जुमलेबाजी से देश की तकदीर नहीं बदल सकती है। इससे देश में लंबे समय से जारी भयंकर महंगाई, गरीबी, अशिक्षा और बेरोजगारी की समस्या समाप्त नहीं हो सकती है। अंतरिम बजट देश की जनता को मायूस और बेचैन करने वाला ही है।' 
 
ट्वीट से अखिलेश ने किया वार 
अखिलेश यादव ने ट्वीट किया, 'एक साल के बजट में दस साल आगे की झूठी बात है। बहुसंख्यक भूमिहीन किसानों और श्रमिकों के लिए इसमें कुछ भी राहत नहीं है। पांच सालों की प्रताड़ना और पीड़ा के बाद देश के किसान, व्यापारी-कारोबारी, बेरोजगार युवा अब बीजेपी से मुक्ति चाहते हैं। दिखावटी ऐलान नहीं।' 
अखिलेश यादव ने लिखा, 'बीजेपी सरकार ने पिछले पांच वर्षों में 5-5 किलो करके खाद की बोरियों से जो निकाला है, अब उसी को वह 6 हजार रुपया बनाकर साल भर में वापस करना चाहती है। बीजेपी ने दाम बढ़ाकर व वजन घटाकर दोहरी मार मारी है। अगले चुनाव में किसान बोरी की बोरी चोरी करने वाली बीजेपी का बोरिया-बिस्तर बांध देंगे।'

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