सोनिया गांधी मजबूत करेंगी विपक्षी एकता

 नई दिल्ली
अंतरिम अध्यक्ष के रूप में कांग्रेस की कमान संभालने के बाद सोनिया गांधी के समक्ष पहली चुनौती पार्टी को अपने सबसे मुश्किल दौर से उबारने की है। सहयोगी दलों के मुताबिक उनके नेतृत्व से कांग्रेस के साथ-साथ विपक्षी एकता को भी मजबूती मिलेगी।

माना जा रहा है कि राहुल गांधी के इस्तीफे के बाद यूपीए में भी तालमेल में कमी दिख रही थी। संसद सत्र के दौरान इसका असर साफ दिखा था। एनसीपी नेता डीपी त्रिपाठी कहते भी हैं, कांग्रेस ने अच्छा निर्णय किया है।

सोनिया के नेतृत्व में धर्मनिरपेक्ष ताकतें एकजुट होंगी। सोनिया को समान विचारधारा वाले दलों के साथ तालमेल में महारत हासिल है।

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