रेप केस पड़ा था भारी, जब अपने ही गढ़ से चुनाव हार गए हेमंत कटारे

भोपाल 
मध्य प्रदेश के दिग्गज नेता रहे सत्यदेव कटारे के बेटे हेमंत कटारे पहली बार विधानसभा उपचुनाव भले ही जीत गए थे लेकिन एक केस उनके राजनीतिक जीवन के शुरुआत में ही ऐसा आया कि उन्हें बुरी तरह हार का सामना देखना पड़ा और अपने गढ़ अटेर विधानसभा में ही वे चुनाव हार गए.

दरअसल, 2016 में सत्यदेव कटारे की मौत के बाद अटेर विधानसभा में उपचुनाव हुआ था और उसमें हेमंत कटारे को जीत मिली थी. उन्होंने बीजेपी के अरविंद भदौरिया को हराया था. लेकिन पिछले विधानसभा चुनाव 2018 में उन्हें हार का सामना करना पड़ा था. दिलचस्प बात यह कि उन्हें अरविंद भदौरिया ने ही हराया.

चुनाव के बाद राजनीतिक गलियारों में यह चर्चा जोर रही कि हेमंत कटारे पर रेप केस भारी पड़ गया और वे अपने ही गढ़ में हार गए. दरअसल, हेमंत कटारे जब विधायक बने थे तो उनकी गिनती मध्य प्रदेश के तेज तर्रार युवा नेताओं में की जाती थी. अटेर में उनकी अच्छी पकड़ थी. वे युवाओं के बीच खासे लोकप्रिय थे. एक तो वे सत्यदेव कटारे के बेटे थे और दूसरा वे हमेश जनता के बीच रहे थे और सामाजिक कार्यों में बढ़-चढ़कर हिस्सा लेते थे.

लेकिन पत्रकारिता की छात्रा के द्वारा लगाया गया रेप का आरोप उन पर भारी पड़ गया. यह केस इतना चर्चित हुआ और इसमें इतने मोड़ आए कि हेमंत कटारे इसमें उलझ गए. यह अलग बात है कि बाद में छात्रा ने मीडिया के सामने हेमंत कटारे को बेकसूर बताते हुए बीजेपी नेता अरविंद भदौरिया को घटना का मुख्य सूत्रधार बताया था.

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