ये भी हो सकते हैं कूल्हे में दर्द के कारण, जानिए इन 6 वजहों के बारे में

कूल्हे में दर्द के कई कारण हो सकते हैं। अकसर इन कारणों पर सीधे तौर से ध्यान नहीं जाता है। इसमें जांघों में तेज दर्द होता है। कभी कूल्हे के जोड़ों के भीतर दर्द का अहसास होता है। कभी ये दर्द शरीर के अन्य हिस्सों जैसे कमर और नितंब तक पहुंच जाता है। ज्यादा तेज गति से कुछ काम करने पर ये दर्द बढ़ता हुआ भी महसूस हो सकता है। ऐसे में डॉक्टर से मिलकर परामर्श करना ही सबसे बेहतर तरीका होता है।

आर्थराइटिस : जो लोग आर्थराइटिस यानी गठिया के रोग से पीड़ित हैं, उन्हें भी कूल्हे में दर्द की समस्या हो सकती है। आर्थराइटिस में जोड़ों में दर्द रहता है। इस समस्या के दौरान हड्डियां कमजोर हो जाती हैं। जैसे-जैसे समस्या बढ़ती है, दर्द भी बढ़ता है। कुछ हिप पेन ऐसे भी होते हैं, जिनमें ऑस्टियोपोरोसिस मुख्य कारण होता है। ऑस्टियोपोरोसिस का संबंध हड्डियों के कमजोर होने से है। अकसर इसका असर भी कूल्हे पर पड़ता है, जिसके कारण दर्द रहने लगता है।

मांसपेशियों में दर्द : वक्त के साथ मांसपेशियां भी कमजोर होती जाती हैं और उनमें दर्द शुरू होने लगता है। हमारे शरीर में होने वाली हर गतिविधि का भार मांसपेशियों, नसों और लिगामेंट्स (अस्थिबंध) पर पड़ता है। लिगामेंट्स पर ज्यादा भार पड़ने से नुकसान हो सकता है। इसकी वजह से भी कूल्हे का दर्द पैदा होता है, जिसे ठीक होने में काफी समय लगता है। किसी भी तरह की मोच या झटका लगने से भी हिप पेन हो सकता है।

फ्रैक्चर : फ्रैक्चर भी इसका अहम कारण है। अकसर फिसलने या गिरने की वजह से इस तरह के फ्रैक्चर सामने आते हैं। इनकी वजह से उम्रदराज लोगों को ज्यादा समस्या सामने आती है और कूल्हे में दर्द होने लगता है।

नसों में चोट : नसें हमारे शरीर का महत्वपूर्ण हिस्सा होती हैं। नसें ही हमारे शरीर में रक्त संचारित करती हैं। इन्हीं के जरिए मांसपेशियां हड्डियों से जुड़ी होती हैं। इनमें किसी वजह से चोट लगने या नस दब जाने या गलत मूवमेंट हो जाने से भी काफी तेज दर्द होता है। ये दर्द मांसपेशियों के दर्द के मुकाबले देर से ठीक होता है।

कैंसर : किसी भी तरह का कैंसर जो हड्डियों तक पहुंच जाता है, कूल्हे में दर्द का कारण बन सकता है।

जोड़ों में संक्रमण : ये कूल्हे में दर्द का सामान्य कारण नहीं है, पर इसकी वजह से भी दर्द हो सकता है। कूल्हे के जोड़ों में किसी तरह का संक्रमण होने से भी दर्द, सूजन और खिंचाव पैदा हो सकता है।

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