मोदी सरकार ला रही महाभर्ती!,  75 हजार पद

नई दिल्ली 
बड़े बहुमत के साथ वापसी करने वाली नरेंद्र मोदी सरकार अपने दूसरे कार्यकाल में सबसे पहले नौकरियों के मोर्चे पर काम करेगी। केंद्र सरकार ने सभी मंत्रालयों और विभागों में खाली पड़े पदों और मौजूदा जरूरतों को देखते हुए रिपोर्ट बनाने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। सूत्रों के मुताबिक, करीब 75 हजार पद ऐसे हैं, जिन्हें तुरंत भरने की जरूरत लग रही है। इसके लिए सरकार स्टाफ सिलेक्शन कमीशन (SSC) को इन पदों पर भर्ती शुरू करने को कह सकती है। सूत्रों का यह भी कहना है कि सरकार बजट में असंगठित क्षेत्र में रोजगार के लिए बड़ी योजना का भी ऐलान कर सकती है।  
 
चुनाव के दौरान तैयार हुआ 100 दिन का अजेंडा 
दरअसल, मोदी के पहले कार्यकाल में नौकरियों की कमी एक बड़ी चिंता बनकर उभरी थी। कांग्रेस ने इसे चुनाव में बड़ा मुद्दा बनाया था और एक साल में 22 लाख नौकरियां देने का वादा किया था। सूत्र बताते हैं कि आम चुनाव के दौरान ही नीति आयोग ने अगली सरकार के लिए 100 दिनों का जो अजेंडा तैयार किया है, उसमें सबसे ज्यादा तरजीह खाली पदों को भरने और एजुकेशन रिफॉर्म्स को दी गई है। पीएमओ के निर्देश पर सभी मंत्रालयों और विभागों से 30 जून 2019 तक खाली पड़े पदों की डिटेल मांगी गई थी। ज्यादातर मंत्रालयों से रिपोर्ट मिलने पर अब कार्मिक विभाग समीक्षा कर रहा है। 
 
रोजगार बढ़ाने पर जोर 
मोदी सरकार-2 की योजनाओं में कंस्ट्रक्शन, टूरिजम और टैक्सटाइल्स जैसे सेक्टर में जरूरी परिवर्तन करने की योजना है, ताकि इन क्षेत्रों में ज्यादा से ज्यादा रोजगार उत्पन्न हो। और इससे क्रेडिट फ्लो और निजी निवेश को गति देने के लिए उपयुक्त तरीके ढूंढे जा सके। आने वाले दिनों में सरकार के मुंह से आप जिन शब्दों को सबसे ज्यादा सुनने वाले हैं, उनमें 'एग्री-बिजनेस', 'ईज ऑफ लिविंग' और '$5 ट्रिलियन की इकॉनमी' शामिल हैं। 

ईटी मैगजीन ने 3 महत्वपूर्ण मंत्रालयों (वाणिज्य-उद्योग, कृषि और रेलवे) के अहम लोगों से बात की, ताकि यह जाना जा सके कि सरकार के 100 दिन का ऐक्शन प्लान क्या है। कई मंत्रालयों को बहुत रूढ़िवादी होने के कारण कार्य योजना को संशोधित करने के लिए कहा जा सकता है। कई मंत्रालय के इसे लेकर सावधान है कि 100 दिन के बाद उनसे पूछा जाएगा कि उनका टारगेट कितना हासिल हो पाया। 

5 ट्रिलियन डॉलर इकॉनमी बनाने की कोशिश 
ईटी को मिले एक लिखिज जवाब में वाणिज्य मंत्री सुरेश प्रभु ने कहा कि भारत को 5 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने में कोई कसर नहीं छोड़ेंगे। उन्होंने कहा, 'भारत को 5 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनाने के लिए कई बेहद कड़े फैसले लेने होंगे। अगली सरकार स्टार्ट-अप इंडिया, एग्री-एक्सपोर्ट नीति और ईज-ऑफ डुइंग बिजनस को लेकर अपनी योजनाओं के आगे बढ़ाएगी।' 

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