नशे की लत छोड़कर गैंगस्टर से बने धावक 

पुणे 
कभी नशे के लती रहे गैंगस्टर राहुल जाधव आज लंबी दौड़ वाले धावक हैं। मुंबई के डोम्बिवली निवासी 42 वर्षीय राहुल अब 17 दिनों की 1,480 किलोमीटर की दौड़ लगाएंगे। उनकी यह दौड़ मुंबई के गेटवे ऑफ इंडिया से शुरू होकर नई दिल्ली के इंडिया गेट तक होगी। इस दौरान वह लोगों को 'थिंक हेल्थ, नॉट ड्रग' (स्वास्थ्य की सोचो, नशे की नहीं) का संदेश देंगे। 

राहुल ने बताया कि वह एक गैंगस्टर और नशे के लती थी। उनका पुणे के एक मुक्तांगन नशा मुक्ति केंद्र में इलाज चला। वहां उन्हें न सिर्फ एक नई जिंदगी मिली बल्कि एक नई पहचान भी मिली। वह अपने भविष्य के बारे में सोचने लगे। 

राहुल ने बताया, 'नशा मुक्ति केंद्र की मुक्ता ताई ने मुझे सलाह दी कि मैं दौड़ूं। मैंने 2016 में जब पहली बार दौड़ लगाई तो मुझे एक नई पहचान मिली। मेरी कोई अच्छी पहचान नहीं थी। लोग मुझे गैंगस्टर के तौर पर जानते थे। अब मैं एक धावक के तौर पर पहचाना जाता हूं।' 

उन्होंने बताया कि वह साढ़े तीन साल आर्थर रोड स्थित जेल में भी रहे। आपराधिक प्रवृत्ति और नशे की लत ने उन्हें अकेला कर दिया। लोग उन्हें हीन भावना से देखते थे। कोई भी उन्हें शादियों या समारोह में नहीं बुलाता था। सामाजिक कार्यक्रमों में उन्हें आमंत्रित नहीं किया जाता था। उनके परिवार ने अप्रैल 2013 में उन्हें नशा मुक्ति केंद्र में भर्ती कराया था। 

राहुल ने बताया, 'मैं मुंबई के कुछ गैंग के साथ मिलकर काम करता था। मैं जब जेल में था तब भी नशे से दूर नहीं रह पाया। अपने भविष्य के बारे में कुछ नहीं सोचता था। जब मैंने दौड़ने के लिए पैरों में जूते पहने तो मेरी जिंदगी बदल गई। आज में एक चॉकलेट कंपनी में काम करता हूं।' 
 

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