नरवा, गरूवा, घुरूवा, बाड़ी और चारा विकास का कार्य पूरे राज्य में चल रहा

रायपुर
प्रदेश में करीब सवा दो सौ से अधिक आदर्श गौठान का निर्माण किया जा रहा है। इस पर साढ़े 45 करोड़ से अधिक खर्च किया गया है। भाजपा के शिवरतन शर्मा ने जानना चाहा है कि प्रदेश में नरवा, घुरूवा, गरूवा, बाड़ी योजना के अंतर्गत गरूवा संरक्षण के लिए नवीन योजना बनाई गई है? इसके जवाब में कृषि मंत्री रविन्द्र चौबे ने बताया कि प्रदेश में नरवा, घुरूवा, गरूवा, बाड़ी योजना के अंतर्गत गरूवा संरक्षण के लिए नवीन योजना सरकार द्वारा बनाई गई है। सुराजी योजना के अंतर्गत नरवा, गरूवा, घुरूवा, बाड़ी और चारा विकास का कार्य प्रदेश में किया जा रहा है।

उन्होंने यह भी बताया कि गरूवा संरक्षण के लिए ग्राम पंचायत स्तर पर भूमि का चयन कर गौठानों का निर्माण किया जा रहा है। उक्त गौठानों में आने वाले पशुओं के लिए चारा की उपलब्धता, पेयजल की व्यवस्था, गौठानों में आए पशुओं का स्वास्थ्य परीक्षण, बीमार पशुओं का उपचार, पशु संवर्धन कार्य किए जा रहे हैं। जिससे पशु संरक्षण के साथ-साथ पशुओं के चरने से होने वाले नुकसान से पशुओं को बचाया जा सकता है। चौबे ने बताया कि वर्तमान में 233 आदर्श गौठानों का निर्माण प्रदेश के सभी 27 जिलों में किया गया है। इस पर 45 करोड़ 72 लाख रुपये खर्च किए गए। गौठानों में आने वाले पशुओं के लिए सूखा चारा के रूप में ग्रामीण स्तर पर एकत्रित दान में दिए गए चारे की व्यवस्था की जा रही है और हरा-भरा चारा के लिए चारागाह विकसित कर हरा चारा का उत्पादन कार्य किया जा रहा है।

कृषि मंत्री ने यह भी बताया कि गौठानों में मवेशियों के चारे के अभाव में मृत्यु और अन्य कारणों से गौठान के बाहर भी मृत्यु की सूचना विभाग को प्राप्त हुई है। इस पर कार्रवाई की गई। कृषि मंत्री ने भाजपा सदस्य बृजमोहन अग्रवाल के एक अन्य सवाल के लिखित जवाब में बताया कि दुर्ग और जांजगीर-चांपा जिले में गौठानों में कुल मिलाकर 20 पशुओं की मौत हुई है। इनमें से कुछ बीमारी के कारण मृत्यु हुई है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *