दो महीने बाद संगम हुआ गुलजार, शुरू हुआ स्नान-दान

 प्रयागराज 
अपने किनारे पूरी दुनिया का मेला बसाने वाला संगम दो महीने तक बिल्कुल अकेला पड़ गया था, लेकिन अब यह धीरे-धीरे गुलजार होने लगा है। चौथे चरण के लॉकडाउन में मिली छूट के बाद लोग यहां आने लगे हैं। श्रद्धालुओं की संख्या अभी सामान्य दिनों की तरह तो नहीं है पर रौनक लौटने लगी है।

बाइक और स्कूटी से शहर और आसपास के लोग पहुंच रहे हैं। मध्य प्रदेश और पड़ोस के जिलों के लोग भी चार पहिया वाहनों से भी संगम आ रहे हैं। श्रद्धालुओं को संगम के बीचोंबीच पहुंचाने के लिए कुछ नावें भी चल रही हैं। घाट पर प्रसाद, चूड़ी, बिंदी आदि की दुकानें फिर लग गई हैं। घाट के किनारे पंडों ने भी आसन जमा लिया है। स्नान के बाद लोग दान आदि कर रहे हैं, वहीं पिंडदान भी किया जा रहा है।

लॉकडाउन में जिन्हें खो दिया, उनकी अस्थियां विसर्जित करने के लिए भी लोग संगम आ रहे हैं। हालांकि बंधवा स्थित बड़े हनुमान मंदिर के कपाट अभी श्रद्धालुओं के लिए नहीं खोले गए हैं। लोग दूर से ही शीश नवा कर आशीर्वाद ले रहे हैं। 22 मार्च को हुए जनता कर्फ्यू के बाद से ही संगम वीरान हो गया था। कर्फ्यू के दौरान ही प्रयागराज सहित प्रदेश के 16 जिलों में तीन दिन का लॉकडाउन घोषित हो गया था, इसी दौरान 24 मार्च की शाम को पीएम ने तीन सप्ताह के पहले चरण के लॉकडाउन की घोषणा कर दी थी। लॉकडाउन के पहले, दूसरे और तीसरे चरण तक संगम विरान ही रहा। चौथे चरण में मिली छूट के बाद इसकी रौनक बढ़ी है।

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