झीरम नरसंहार की एसआईटी जांच को झटका, एनआईए ने दस्तावेज देने से किया इनकार

बस्तर
छत्तीसगढ़ के बस्तर के झीरम घाटी में नक्सलियों द्वारा किए गए नरसंहार मामले की एसआईटी जांच को झटका लगा है. मामले में पहले से जांच कर रही नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी (एनआईए) ने एसआईटी को कोई भी दस्तावेज देने से इनकार कर दिया है. विधानसभा के बजट सत्र के दौरान मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने इस संबंध में सदन में जानकारी दी है. एनआईए ने पत्र भेजकर इसकी जानकारी दी है.

सीएम भूपेश बघेल ने सदन में बताया कि एनआईए ने पत्र में लिखा है कि इस मामले में कई लोगों से पूछताछ करनी है, इसलिए ही मामले से जुड़े दस्तावेज नहीं दिए जा सकते हैं. सीएम बघेल ने कहा कि झीरमघाटी नरसंहार एक राजनीतिक षड़यंत्र था. ​नक्सलियों से कांग्रेस नेताओं की सुपारी किलिंग करवाई गई थी, इसलिए ही सरकार ने इस मामले में जांच के लिए एसआईटी का गठन किया है.

बता दें कि मई 2013 में कांग्रेस की परिवर्तन यात्रा पर बस्तर के दरभा झीरम घाटी में नक्सलियों ने हमला कर दिया था. इस हमले में नक्सलियों ने कांग्रेस के तत्कालीन प्रदेश अध्यक्ष नंदकुमार पटेल, उनके बेटे दिनेश पटेल, पूर्व केन्द्रीय मंत्री विद्याचरण शुक्ल, बस्तर टाइगर महेन्द्र कर्मा सहित 31 लोगों की हत्या कर दी गई थी. इसमें प्रदेश कांग्रेस के आला नेता भी शामिल थे. सत्ता में आने के बाद कांग्रेस ने इस घटना की नए सिरे से जांच के लिए एसआईटी का गठन किया था.

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