जेल भेजे 29 लोग, आरे में पेड़ काटने के खिलाफ प्रदर्शन

 
मुंबई 

अभी तक 800 से ज्यादा पेड़ काटे जा चुके हैंइलाके का 3 किलोमीटर का रेडियस सीलप्रशासन ने इलाके में लागू की गई धारा 144न्यायिक हिरासत में भेजे गए 29 प्रदर्शनकारी

बॉम्बे हाईकोर्ट ने मुंबई की आरे कॉलोनी को जंगल घोषित करने वाली सभी याचिकाओं को खारिज कर दिया है. हाईकोर्ट के फैसले के बाद आरे कॉलोनी में शुक्रवार देर रात पेड़ काटने का काम भी शुरू हो गया. इसके विरोध में कई प्रदर्शनकारी मौके पर पहुंच गए. मेट्रो रेल साइट पर जमकर नारेबाजी की. इस बीच पुलिस ने आरे की तरफ जाने वाली सभी सड़कों पर बैरिकेड लगा दिए और कई प्रदर्शनकारियों को हिरासत में ले लिया.
 
पुलिस ने गिरफ्तार किए गए 29 प्रदर्शनकारियों को बोरिवली कोर्ट में पेश किया, जहां से उनको न्यायिक हिरासत में भेज दिया. साथ ही कोर्ट ने मामले की सुनवाई सोमवार के लिए तय कर दी. वहीं, न्यायिक हिरासत में भेजे गए कई प्रदर्शनकारी छात्र हैं, जिनकी सोमवार को परीक्षाएं हैं. लिहाजा ऐसे प्रदर्शनकारियों को रिहा करने के लिए अलग से आवेदन दाखिल किया गया है.

सूत्रों के मुताबिक, 800 से ज्यादा पेड़ काटे जा चुके हैं. पेड़ काटने के लिए और भी मशीन्स साइट पर मंगवाई गई हैं. दमकल विभाग की टीम भी मौके पर मौजूद है. इलाके के 3 किलोमीटर के रेडियस में किसी को भी जाने की इजाजत नहीं है. शुक्रवार रात को 100 से ज्यादा लोगों को पुलिस ने हिरासत में भी लिया. मीडिया को भी अंदर जाने की इजाजत नहीं दी गई. प्रदर्शनकारियों ने मेट्रो रेल साइट पर जमकर नारेबाजी की. इस दौरान पुलिस के साथ लोगों की झड़प हुई.

इस सब हंगामे के बीच शनिवार को आरे में धारा 144 लागू कर दी गई है. लोगों को इलाके में इकट्ठा नहीं होने दिया जा रहा है. मुंबई पुलिस ने मामले में एफआईआर भी दर्ज की है. आईपीसी की धारा 353 और अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है. 38 लोगों को हिरासत में लिया गया है और 20 लोगों को गिरफ्तारी हुई है.

इस बवाल के बीच शिवसेना नेता प्रियंका चतुर्वेदी को पुलिस ने हिरासत में ले लिया. उन्होंने ट्वीट कर आरे जाने की बात कही थी.
 
कांग्रेस नेता मिलिंद देवड़ा ने भी इस मुद्दे को लेकर राज्य सरकार पर निशाना साधा. उन्होंने ट्वीट में लिखा, "मुंबई में पेड़ काटना अपने फेफड़ों में चाकू गोदने जैसा है. शहर जब अपनी कोस्टलाइन और ग्रीन कवर खत्म करता है तो वह कयामत का दिन करीब बुला रहा है."

कई मशहूर हस्तियों ने भी इस पर विरोध जताया. शिवसेना नेता आदित्य ठाकरे ने ट्वीट कर विरोध जताया और साथ ही इशारों-इशारों में केंद्र और राज्य की बीजेपी सरकार पर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि अगर इस तरह से जंगल काटे जा रहे हैं तो प्लास्टिक प्रदूषण पर बोलने का कोई फायदा नहीं है.   

स्वराज इंडिया के अध्यक्ष योगेंद्र यादव ने भी ट्वीटकर विरोध जताया. उन्होंने लिखा, "ऐसे समय में जब जलवायु संकट साफ नजर आ रहा है. महाराष्ट्र सरकार पेड़ गिराने पर जोर दे रही है. यह बहुत ही चिंताजनक बात है." एक्ट्रेस स्वरा भास्कर ने भी ट्वीटकर विरोध जताया. शिवसेना नेता संजय राउत ने भी एक कार्टून ट्वीट कर विरोध जताया.

दरअसल, आरे में 2600 से ज्यादा पेड़ों को काट कर मेट्रो कार शेड बनाए जाने के खिलाफ लोग विरोध-प्रदर्शन कर रहे हैं. एमएमआरसीएल का कहना है कि उनके पास पेड़ काटने की अनुमति है. वहीं, प्रदर्शनकारियों का कहना है कि एमएमआरसीएल ये पेड़ तभी काट सकता है, जब परमिशन को म्युनिसिपल कारपोरेशन के वेबसाइट पर अपलोड होने के 15 दिन बीत चुके हों.

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