जन्मदिन विशेषः अजीत वाडेकर की कप्तानी का कमाल… जब भारत ने जीती तीन लगातार सीरीज

 
नई दिल्ली 

बेहतरीन बल्लेबाज और शानदार कप्तान, जिन्होंने हमारे क्रिकेट इतिहास को सबसे यादगार पल दिए. जी हां! बात हो रही है अजीत लक्ष्मण वाडेकर की. आज (बुधवार) उनकी जयंती है. वाडेकर का जन्‍म 1 अप्रैल 1941 में मुंबई (तत्कालीन बंबई) में हुआ था. 2018 में 77 साल की उम्र में उनका निधन हुआ.

अजीत वाडेकर तीन लगातार टेस्ट सीरीज जीतने वाले भारत के पहले कप्तान थे. उन्होंने वेस्टइंडीज को 1970-71 में 1-0 (5) से , इंग्लैंड को 1971 में 1-0 (3) से हराने के बाद भारत दौरे पर इंग्लैंड को 1972-73 में 2-1(5) से हराया था. 1971-1974 के दौरान अजीत वाडेकर ने 16 टेस्ट मैचों में भारत की कप्तानी की. जिनमें से उन्होंने 4 टेस्ट जीते, इतने ही हारे और 8 टेस्ट ड्रॉ रहे.
 
वेस्टइंडीज की धरती पर पहली जीत

1971 के फरवरी और अप्रैल के दौरान भारत ने वेस्टइंडीज में पांच मैचों की टेस्ट सीरीज खेली. इस सीरीज में वाडेकर की कप्तानी में भारत ने पोर्ट ऑफ स्पेन टेस्ट ( सीरीज का दूसरा टेस्ट 6-10 मार्च) 7 विकेट से जीता, जो इंडीज की धरती पर पहली टेस्ट जीत थी. भारत ने चार टेस्ट ड्रॉ करा सीरीज की समाप्ति 1-0 से जीत के साथ की. यह वेस्टइंडीज में भारत की पहली सीरीज जीत रही.

-सुनील गावस्कर का स्वर्णिम आगाज

1970/71 में वेस्टइंडीज जैसी टीम को उसके घर में भारत ने न सिर्फ पहली बार हराया, बल्कि कैरेबियाई धरती पर पहली बार सीरीज पर कब्जा भी जमाया. इसी सीरीज में सुनील गावस्कर ने पदार्पण कर कीर्तिमान रच दिया था. उन्होंने सीरीज के 4 टेस्ट मचों में खेलकर रिकॉर्ड 774 रन (दोहरा शतक सहित 4 शतक और तीन अर्धशतक) बनाए, जो आज भी डेब्यू करते हुए पांच टेस्ट मैचों की सीरीज में सर्वाधिक रन बनाने का विश्व रिकॉर्ड है.

इंग्लैंड को उसके घर में पहली बार हराया

1971 के जुलाई और अगस्त के दौरान भारत ने इंग्लैंड में तीन मैचों की टेस्ट सीरीज खेली. वाडेकर की कप्तानी में इस सीरीज का आखिरी ओवल टेस्ट (19-24 अगस्त) भारत ने 4 विकेट से जीता. यह इंग्लैंड की धरती पर भारत की पहली टेस्ट जीत थी. और इसके साथ ही भारत ने सीरीज की समाप्ति 1-0 से जीत के साथ की. यह इंग्लैंड में भारत की पहली सीरीज जीत रही.
 
चंद्रा-राघवन-बेदी की फिरकी का जादू

सीरीज में लॉ‌र्ड्स और ओल्ड ट्रेफर्ड में खेले गए शुरुआती दोनों टेस्ट ड्रॉ रहे, लेकिन ओवल टेस्ट में भारतीय टीम ने पहली पारी में 71 रनों से पिछड़ने के बावजूद मेजबान टीम को चार विकेट से हराकर ऐतिहासिक जीत दर्ज की. दूसरी पारी में भारत ने भगवत चंद्रशेखर के छह विकेटों की मदद से इंग्लैंड को महज 101 रनों पर ढेर कर दिया.

सीरीज में भारत की ओर से कप्तान अजीत वाडेकर ने सबसे ज्यादा 204 रन बनाए, जबकि भगवत चंद्रशेखर, एस. वेंकटराघवन और बिशन सिंह बेदी की स्पिन तिकड़ी ने क्रमशः 13, 13 और 11 विकेट चटकाए.

वाडेकर FACTS –

– वाडेकर न्यूजीलैंड (1967/68), वेस्टइंडीज (1970/71) और इंग्लैंड (1971) की धरती पर पहली टेस्ट जीत में भारतीय टीम में रहे. वेस्टइंडीज और इंग्लैंड में तो वह भारत के कप्तान थे, जबकि न्यूजीलैंड में नवाब पटौदी ने कप्तानी की थी.

– वाडेकर 1992 से 1996 तक भारतीय टीम के मैनेजर (कोच) रहे. इस दौरान अजहरुद्दीन की कप्तानी में भारत ने इंग्लैंड के खिलाफ 3-0 से सीरीज जीत के साथ लगातार 14 टेस्ट मैचों में अविजित रहने का उल्लेखनीय प्रदर्शन किया.

– वाडेकर ने 37 टेस्ट मैचो में 31.07 की औसत से 2,113 रन बनाए, जिसमें एक शतक के अलावा उनके 14 अर्धशतक भी शामिल हैं. वाडेकर ने दो वनडे इंटरनेशनल में 73 रन बनाए.

– उन्होंने 237 प्रथम श्रेणी मैचों में 47.03 की औसत से 15380 रन बनाए. उनके बल्ले से 36 शतक और 84 अर्धशतक निकले. उन्होंने 1966-67 के रणजी ट्रॉफी मैच में 323 का सर्वश्रेष्ठ स्कोर मैसूर के विरुद्ध बनाया था.

– भारत सरकार ने 1967 से वाडेकर को अर्जुन अवॉर्ड से सम्मानित किया. इसके बाद 1972 में उन्हें पद्मश्री अलंकरण से भी विभूषित किया गया.

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