गुलाबी फार्मो की जांच के बाद होगा किसानों को भुगतान, पौने चार लाख किसानों की कर्जमाफी में पेंच

भोपाल
प्रदेश के पौने चार लाख किसानों की कर्जमाफी मुश्किल में है। इन किसानों ने गुलाबी फार्म भरे है। इनके नाम सफेद और हरे आवेदनों की सूची में नही है। इसलिए इन आवेदनों की पूरी जांच के बाद उनके आधार कार्ड, बैंक खातों की विस्तृत जांच के बाद ही इन्हें भुगतान किया जाएगा।

इसमें खंडवा जिले में 11 हजार 207, उज्जैन में 13 हजार 12, बैतूल में 13 हजार 701, धार जिले में 17 हजार 205, मंदसौर में 15 हजार 32, जबलपुर में 11 हजार 82,विदिशा में 10 हजार 878, खरगौन में 22 हजार 210, सीहोर में 14 हजार 569, सागर में  दतिया में 12 हजार 983 गुलाबी आवेदन किसानों ने भरे है। कुल 3 लाख 72 हजार 34 गुलाबी आवेदन सभी जिलों में किसानों ने भरे है। अन्य जिलों में भी हजारों की तादाद में गुलाबी फार्म भरे गए है। ऐसे किसान जिनके पास आधार कार्ड नही है। ऐसे किसान जिनके नाम हरी और सफेद सूचियों में नही आए है। 

बैंको और प्राथमिक सहकारी समितियों के पास जिन किसानों का रिकार्ड उपलब्ध नहीं है लेकिन उन्होंने कर्ज लिया हुआ है। इसके अलावा वे किसान जिनके नाम पर कर्ज नहीं है लेकिन बैंको ने अपनी सूचियों में उनके नाम लाखों रुपए का कर्ज दिखा दिया है। इन सभी किसानों को गुलाबी फार्म भरने को कहा गया है। पहले हरे और सफेद फार्म भरने वाले किसानों के कर्ज माफ किए जाएंगे। सबसे अंत में गुलाबी फार्म भरने वाले किसानों के फार्मो की जांच कर उनके कर्ज माफ किए जाएंगे।

हर जिले में कंट्रोल रुम बनाए गए है। इन पर भी किसान कर्जमाफी को लेकर आवेदन कर रहे है। उन सभी से गुलाबी फार्म भी भरवाए जा रहे है। एक राज्य स्तरीय कंट्रोल रुम से इनकी मानीटरिंग की जा रही है। जो भी गुलाबी फार्म आए है उन सभी किसानों से आधार कार्ड और बैंक खाते तथा उनमें लिए गए कर्ज का डिटेल मांगा जा रहा है। बैंक खातों और आधार नंबर को बैंक खातों से लिंक करने के बाद यह देखा जाएगा कि 31 मार्च 2018 तक किन किसानों पर कितना कर्ज बाकी था। उसका भुगतान ही किसानों के खाते में किया जाएगा।जो किसान बाद में राशि जमा कर चुके है उन्हें सम्मान निधि के रुप में सहायता दी जाएगी।

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