ऐसे चुनें अपने ड्रैस के लिए सही फैब्रिक

तो आजकल ट्रेंड में रेडीमेड ड्रेसेज ही ज्यादा देखने को मिल रही हैं, क्योंकि रेडी-टू-वियर होने के कारण आप इन्हें तुरंत खरीदकर पहन सकती हैं। इन्हें पसंद करने का दूसरा एक बड़ा कारण यह भी है कि अपने बजट के हिसाब से आप मनपसंद डिजाइन की ड्रेस चुन सकती हैं। बावजूद इसके आज भी ऐसी महिलाओं की कमी नहीं है, जिन्हें अपनी पसंद के फैब्रिक और अपनी पसंद के डिजाइन की ड्रेस टेलर मास्टर से सिलवाना ही पसंद है।

कोई भी कपड़ा खरीदते समय मौसम, मौके और अपने साइज का ध्यान रखना बेहद जरूरी होता है, ताकि सटीक कट और फिटिंग की ड्रेस बनवाई जा सके। वैसे बुटीक से सिलवाए गये कपड़ों में आपका पर्सनल टच झलकने की गुंजाइश ज्यादा रहती है और अपनी पसंद के हिसाब से डिजाइन में भी आप फेर-बदल करवा सकती हैं। अगर आपको भी कपडे़ सिलवाकर पहनने का शौक है तो यह जरूरी है कि आपको तरह-तरह के फैब्रिक की जानकारी हो। जब बात भारतीय परिधानों की आती है, तो करीब 5 या 6 फैब्रिक ऐसे हैं, जो सबसे ज्यादा इस्तेमाल में लाये जाते हैं, क्योंकि वे भारतीय माहौल, मौसम और परिधान के लिए बिल्कुल मुफीद बैठते हैं।

क्रिस्प कॉटन
जब बात हर दिन पहने जाने वाले कपड़ों की आती है तो सूती से बढ़िया फैब्रिक कोई हो ही नहीं सकता। दरअसल, भारत में गर्मी का मौसम थोड़ा ज्यादा लंबा होता है, जबकि सर्दियों का मौसम अपेक्षाकृत कम और थोड़ा छोटा होता है। इस लिहाज से सूती कपड़े हमारे देश में ज्यादा पसंद किये जाते हैं, क्योंकि ये मुलायम होने के साथ-साथ त्वचा को सांस लेने में भी मदद करते हैं।
वैसे भी आजकल के मौसम को देखते हुए कॉटन के प्रिंटेड कुरतों के साथ पेस्टल कलर में पलाजो पैंट्स बहुत ज्यादा ट्रेंड में हैं, जो आरामदायक होने के साथ-साथ बहुत क्लासी लुक भी देते हैं। कॉटन की एक खास बात यह भी होती है कि इसे आप अपनी पसंद के किसी भी रंग में डाय भी करवा सकती हैं। वैसे वायल और लिनेन भी कॉटन की तरह नैचुरल फैब्रिक ही होते हैं, जो गर्मी के उमस भरे मौसम में खासे पसंद किये जाते हैं। अब तो खादी की गुणवत्ता में भी बहुत सुधार हो गया है। जहां पहले खादी का मतलब सिर्फ खद्दर के मोटे-मोटे कुरते होते थे, वहां फाइन खादी का इस्तेमाल अलग-अलग ढंग के डिजाइनर वियर में भी किया जाने लगा है।

जबरदस्त जॉर्जेट
अपने मुलायम टेक्सचर की वजह से जॉर्जेट का इस्तेमाल अकसर पार्टी वियर या डिजाइनर वियर के लिए किया जाता है। देखने में बेहद नाजुक जॉर्जेट भारी कसीदाकारी का भार अच्छी तरह से सहन कर लेता है, इसलिए यह भारी साड़ियों में विशेष रूप से इस्तेमाल किया जाता है। इसके अलावा जॉर्जेट के कुरते और लंबे जैकेट्स भी काफी पसंद किए जाते हैं। भारी शरीर वाली महिलाओं पर यह फैब्रिक विशेष रूप से सूट करता है, क्योंकि यह उन्हें स्लिम दिखाने में मदद करता है। पर हां, इसके कुरते बनवाते समय लाइनिंग लगवाना ना भूलें, क्योंकि यह फैब्रिक थोड़ा झीना होता है और लाइनिंग से इस फैब्रिक को मजबूती भी मिलती है।

स्टाइलिश शिफॉन
कुछ-कुछ जॉर्जेट से मिलता-जुलता शिफॉन बेहद नर्म और लहराता हुआ लुक देता है। शिफॉन के दुपट्टे, सूट और साड़ियां हर भारतीय महिला के वॉर्डरोब का अभिन्न हिस्सा होते हैं। कसीदाकारी और एप्लिक वर्क के लिए यह फैब्रिक शानदार बेस का काम करता है। हालांकि प्योर शिफॉन थोड़ा महंगा आता है, पर सिंथेटिक शिफॉन अपेक्षाकृत सस्ता होता है और किसी भी रंग में आसानी से डाय भी किया जा सकता है। आप इसका इस्तेमाल अलग-अलग तरह की वेस्टर्न और इंडियन ड्रेस बनाने में कर सकती हैं।    

कैसा रहेगा क्रेप?
यह एक ऐसा फैब्रिक है, जो मुख्यत: फॉर्मल वियर ड्रेसेज के लिए पसंद किया जाता है। इस पर आसानी से सिलवटें नहीं पड़तीं और पहनने तथा देखने में यह बहुत हल्का लगता है। क्रेप पहनने से वजन कम दिखता है, इसलिए पार्टी वियर कपड़ों और फॉर्मल ड्रेसेज में यह विशेष रूप से पसंद किया जाता है। वैसे शुरुआत में क्रेप सिर्फ सिल्क से बनाया जाता था, लेकिन अब इस फैब्रिक को साटन, रेयान और काटन से भी तैयार किया जाने लगा है। यह आसानी से मुड़ता नहीं है, इसलिए इस पर हर बार आयरन करने की जरूरत भी नहीं होती। यही वजह है कि डेली वियर के रूप में भी यह फैब्रिक लोकप्रिय हो गया है।

सदाबहार है  सिल्क
सिल्क एक ऐसा फैब्रिक है, जो कॉटन के बाद भारतीय महिलाओं द्वारा सबसे ज्यादा पसंद किया जाता है। वैसे भी भारतीय सिल्क बहुत शानदार और पारंपरिक एहसास देता है और दुनियाभर में पसंद किया जाता है। शादी-ब्याह जैसे खास और बड़े अवसरों पर तो सिल्क की साड़ी के बिना बात ही नहीं बनती। बनारसी तथा मैसूर सिल्क साड़ियां तो महिलाओं को विशेष रूप से पसंद आती हैं। साड़ी और लहंगों के लिए जहां बनारसी सिल्क या प्योर सिल्क ज्यादा पसंद किया जाता है, वहीं कुरते या सूट आदि के लिए टसर या कोसा सिल्क की मांग ज्यादा रहती है।

 

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