उत्तर प्रदेश में कम हुई मानसून की सक्रियता, नदियां लबालब

लखनऊ
उत्तर प्रदेश के ज्यादातर हिस्सों में पिछले दिनों हुई जोरदार बारिश से नदियां उफान पर हैं। केन्द्रीय जल आयोग की रिपोर्ट के मुताबिक, जलभरण क्षेत्रों में पिछले दिनों हुई भारी बारिश की वजह से शारदा, घाघरा, बूढ़ी राप्ती, क्वानो और गण्डक समेत विभिन्न नदियों का जलस्तर बढ़ा है। घाघरा नदी पलियाकलां (खीरी) में जबकि बूढ़ी राप्ती नदी ककरही (सिद्धार्थनगर) में खतरे के निशान को पार कर गयी है।

इसके अलावा, घाघरा नदी का जलस्तर एल्गिनब्रिज (बाराबंकी), अयोध्या और तुर्तीपार (बलिया) में लाल चिह्न के नजदीक पहुंच गया है। इसके अलावा राप्ती नदी भिनगा (श्रावस्ती) और बलरामपुर में, सरयू नदी गायघाट (बहराइच) में, शारदा नदी शारदानगर (खीरी) में, गंगा नदी कछला पुल (बदायूं) में जबकि क्वानो नदी चंद्रदीपघाट (गोण्डा) और गण्डक नदी खड्डा (कुशीनगर) में खतरे के निशान के आसपास बह रही है।

इधर, पूरे प्रदेश में मानसून की सक्रियता में फिलहाल कुछ कमी के बीच ज्यादातर हिस्सों में उमस भरी गर्मी का दौर शुरू हो गया है। आंचलिक मौसम केन्द्र की रिपोर्ट के मुताबिक पूर्वी उत्तर प्रदेश में दक्षिण—पश्चिमी मानसून सामान्य है, मगर इसकी चाल कुछ मद्धिम जरूर पड़ी है। अगले चार—पांच दिनों तक इसके जोर पकड़ने की सम्भावना भी नहीं है।

पिछले 24 घंटों के दौरान राज्य में कुछ स्थानों पर बारिश हुई। कुछ जगहों पर भारी वर्षा भी हुई। इस अवधि में बस्ती में सबसे ज्यादा 18 सेंटीमीटर बारिश दर्ज की गयी। इसके अलावा डुमरियागंज में 11, बलरामपुर में 10, काकरधारीघाट और अयोध्या में नौ—नौ, खलीलाबाद, चंद्रदीपघाट तथा नानपारा में आठ—आठ, हर्रैया, बस्ती और बर्डघाट में सात—सात सेंटीमीटर वर्षा रिकार्ड की गयी।

ज्यादातर इलाकों में बारिश न होने से दिन के तापमान में बढ़ोत्तरी हुई है। नतीजतन उमस भरी गर्मी महसूस की जा रही है। अगले 24 घंटों के दौरान प्रदेश के कुछ हिस्सों में बारिश होने का अनुमान है। अगली 19 जुलाई तक अच्छी बारिश होने के आसार कम हैं।

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