संकट गहराया, कांग्रेस बोली- NCP से चर्चा करेंगे

मुंबई
महाराष्ट्र में नई सरकार को लेकर सस्पेंस गहरा गया है। शिवसेना के नेता आदित्य ठाकरे की अगुआई में आज शाम में गवर्नर से मिले पर सरकार बनाने का दावा पेश नहीं कर सके। हालांकि शिवसेना ने महाराष्ट्र में सरकार बनाने की इच्छा जरूर जताई है। शिवसेना ने 2 दिनों का वक्त मांगा था लेकिन गवर्नर ने समय नहीं दिया। ऐसे में राजनीतिक संकट की स्थिति बन गई है। उधर, कांग्रेस और एनसीपी की ताबड़तोड़ बैठकों के बाद भी स्थिति स्पष्ट नहीं हो सकी है।

पहले खबर आ रही थी कि कांग्रेस ने NCP चीफ शरद पवार से बात कर शिवसेना को समर्थन देने का मन बना लिया है, लेकिन शाम करीब साढ़े सात बजे कांग्रेस ने बयान जारी कर पेच फंसा दिया। कांग्रेस ने कहा है कि वह इस मामले में एनसीपी के साथ और चर्चा करना चाहती है। ऐसे में अब तक साफ नहीं हो पाया है कि कांग्रेस शिवसेना का समर्थन करेगी या नहीं। कांग्रेस नेताओं का कहना है कि मंगलवार को पार्टी के नेता एनसीपी के साथ बैठक करेंगे, जिसमें कुछ फैसला हो सकता है। ऐसे में राज्यपाल नई सरकार को लेकर क्या फैसला लेंगे, यह कहा नहीं जा सकता।

कांग्रेस ने क्या कहा
कांग्रेस ने महाराष्ट्र के अपने नेताओं की बैठक के बाद एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कहा कि उसे अभी एनसीपी के साथ और चर्चा की जरूरत है। विज्ञप्ति में कहा गया, 'कांग्रेस वर्किंग कमिटी की आज सुबह बैठक हुई और महाराष्ट्र के ताजा हालात पर लंबी चर्चा हुई। इसके बाद महाराष्ट्र कांग्रेस के नेताओं के साथ भी काफी चर्चा हुई। कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने एनसीपी चीफ शरद पवार के साथ भी बातचीत की है। कांग्रेस एनसीपी के साथ अपनी बातचीत जारी रखेगी।'

इससे पहले शाम में शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे ने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को फोन कर समर्थन मांगा था। टीवी रिपोर्टों में कहा जा रहा था कि बात बन गई है लेकिन बाद में कांग्रेस ने बयान जारी कर कहा कि अभी एनसीपी से बात चल रही है। रिपोर्टों में यह भी कहा गया था कि कांग्रेस ने सैद्धांतिक तौर पर शिवसेना को समर्थन देने की बात कही है।

सोनिया ने अपने नेताओं की राय जानी
कांग्रेस की सोनिया गांधी शिवसेना को समर्थन देने के लिए राजी हो गई हैं। खबर है कि कांग्रेस ने जयपुर के रिजॉर्ट में रुके अपनी सभी 44 विधायकों से बातचीत की है। इस बातचीत में लगभग सभी विधायकों ने सेना को समर्थन देने की वकालत की है, साथ ही कहा है कि कांग्रेस को सरकार में शामिल भी होना चाहिए। सूत्रों के मुताबिक, कांग्रेस विधायकों ने कहा है कि स्थायी सरकार के लिए कांग्रेस को बाहर से समर्थन देने की जगह सरकार में शामिल होना चाहिए।

पदों को लेकर यह है चर्चा
चर्चा है कि यदि तीनों पार्टियों के बीच साथ चलने को लेकर सहमति बनती है तो अगली चर्चा सरकार के स्वरूप को लेकर होगी। खबर है कि सरकार में चार महत्वपूर्ण पद हैं, इसमें सीएम, डेप्युटी सीएम, विधानसभा स्पीकर और गृहमंत्री का पद शामिल है। सूत्रों का कहना है कि शिवसेना पांच साल के लिए सीएम पद संभालेगी, एनसीपी डेप्युटी सीएम पद लेगी, वहीं कांग्रेस विधानसभा स्पीकर का पद ले सकती है।

जल्द लेना होगा फैसला
शिवसेना को सरकार बनाने का दावा पेश करने के लिए राज्यपाल ने आज शाम 7:30 तक का समय दिया है। यदि इस समय तक शिवसेना की तरफ से कोई फैसला नहीं होता है तो इसकी पूरी संभावना है कि राज्य में राष्ट्रपति शासन लगे। ऐसे में कांग्रेस पार्टी को यह फैसला जल्द लेना होगा कि वह शिवसेना का समर्थन करना चाहती है या नहीं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *