शहीद हैं हेमंत करकरे, पर एटीएस चीफ की भूमिका पर शक: सुमित्रा महाजन

 भोपाल 
लोकसभा चुनाव के बीच बयानबाजियों का दौर जारी है। हेमंत करकरे पर पहले मालेगांव ब्लास्ट मामले की आरोपी और भोपाल लोकसभा सीट से भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की प्रत्याशी साध्वी प्रज्ञा ने बयान दिया था। अब लोकसभा स्पीकर सुमित्रा महाजन ने हेमंत करकरे पर नया बयान देकर सियासी खेमे में हड़कंप मचा दिया है। यही नहीं, सुमित्रा महाजन के बयान के बाद कांग्रेस के कद्दावर नेता दिग्विजय सिंह ने उन पर निशाना साधा है। सुमित्रा महाजन ने कहा, 'उनका (हेमंत करकरे) ड्यूटी के दौरान निधन हुआ था, इसलिए उन्हें शहीद माना जाएगा।' हालांकि, सुमित्रा महाजन ने बतौर एटीएस चीफ हेमंत करकरे की भूमिका पर शक भी जाहिर किया है। माना जा रहा है कि सुमित्रा महाजन ने इस बयान के जरिए दिग्विजय सिंह पर निशाना साधा है। कथित रूप से दिवंगत एटीएस चीफ हेमंत करकरे कांग्रेस के संरक्षण में काम कर रहे थे और वह दिग्विजय सिंह के बेहद खास थे। 

'मुझमें सिमी और बजरंग दल दोनों को बैन करने का साहस' 
सुमित्रा के बयान पर पलटवार करते हुए भोपाल लोकसभा सीट से कांग्रेस उम्मीदवार दिग्विजय सिंह ने कहा है, 'सुमित्रा ताई, मुझे गर्व है कि अशोक चक्र विजेता शहीद हेमंत करकरे के साथ आप मुझे जोड़ती हैं। आपके साथी उनका अपमान भले ही करें, मुझे गर्व है कि मैं सदैव देशहित, राष्ट्रीय एकता और अखंडता की बात करने वालों के साथ रहा हूं।' उन्होंने यह भी कहा, 'सुमित्रा ताई, मैं धार्मिक उन्माद फैलाने वालों के हमेशा खिलाफ रहा हूं। मुझे गर्व है कि मुख्यमंत्री रहते हुए मुझमें सिमी और बजरंगदल दोनों को बैन करने की सिफारिश करने का साहस था। मेरे लिए देश सर्वोपरि है, ओछी राजनीति नहीं।' 

हेमंत करकरे पर साध्वी प्रज्ञा दे चुकी हैं विवादित बयान 
गौरतलब है कि साध्वी प्रज्ञा ने मालेगांव ब्लास्ट मामले में अपनी यातनाओं का जिक्र करते हुए हेमंत करकरे पर विवादित बयान दिया था। जब साध्वी के बयान पर चौतरफा हमले किए जाने लगे तो प्रज्ञा ठाकुर ने माफी मांग ली। 

NIA कोर्ट से मालेगांव ब्लास्ट में 'राहत' पाने वाली साध्वी प्रज्ञा ठाकुर की कहानी बेहद दिलचस्प है। बाकी लड़कियों से अलग प्रज्ञा की 'टॉमबॉय' जैसी छवि थी। वह जीन्स, टी-शर्ट पहनतीं, लड़कों की तरह छोटे बाल रखतीं और मोटरसाइकल चलाती थीं। वह राह चलते छेड़छाड़ करने वाले लड़कों से भी बेधड़क जाकर भिड़ जाती थीं। प्रज्ञा ठाकुर मध्य प्रदेश के चंबल इलाके में स्थित भिंड जिले में पली बढ़ीं। एक आरएसएस स्वयंसेवक और पेशे से आयुर्वेदिक डॉक्टर की बेटी प्रज्ञा ठाकुर की बचपन में खेलकूद में काफी रुचि थी। इतिहास में पोस्ट ग्रैजुएट 45 वर्षीय प्रज्ञा हमेशा से ही दक्षिणपंथी संगठनों से जुड़ी रहीं। वह एबीवीपी की सक्रिय सदस्य थीं और वीएचपी की महिला विंग दुर्गा वाहिनी से जुड़ी थीं, वह कई बार अपने भड़काऊ भाषणों के लिए सुर्खियों में रहीं। 2002 में उन्होंने एक जय वंदे मातरम जन कल्याण समिति बनाई। एक मैगजीन को दिए इंटरव्यू में उनके पिता ने एक बार कहा था कि इस संगठन ने ऐसी कई लड़कियों को 'बचाया' है, जो दूसरे समुदाय के लड़कों के साथ भाग गई थीं।
 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *