विधानसभा का पहला सत्र आज से, प्रोटेम स्पीकर विधायकों को दिलाएंगे शपथ

भोपाल

मध्य प्रदेश विधानसभा का शीत कालीन सत्र 7 जनवरी से शुरू हो रहा है। सत्र की शुरूआत वन्दे मातरम के गान के साथ होगी। इस संबंध में सभी विधायकों को विधानसभा सचिवालय ने सूचना जारी कर दी। विधानसभा के प्रोटेम स्पीकर विधायकों को शपथ दिलाएंगे। रविवार शाम को हुई कांग्रेस विधायकों की बैठक में निर्दलीय और बसपा-सपा के विधायकों ने भी नाथ को अपना समर्थन दिया है। इस तरह कांग्रेस सदन में 120 सदस्‍यों के साथ अपना अध्‍यक्ष चुनने में कामयाब होगी। बैठक में भाग ना लेने वाले एकमात्र विधायक विक्रम राणा का कहना है की विधायक दल की बैठक में नहीं गए लेकिन उनका कांग्रेस सरकार के प्रति समर्थन 5 साल के लिए है। भाजपा विधायक दल की बैठक 7 जनवरी की शाम को 5 बजे रखी गई है। इसमें नेता प्रतिपक्ष का चुनाव होगा।

विधानसभा सचिवालय की और से विधायकों को जारी की गई सूचना में 7 जनवरी को प्रात: 11 बजे सदन में उपस्थित होने का आग्रह किया गया है। वंदे मातरम् के बाद सदन की कार्यवाही शुरू हो जाएगी। इसके बाद प्रोटेम स्पीकर दीपक सक्‍सेना 229 विधायकों को शपथ दिलाएंगे। शपथ ग्रहण कार्यक्रम देर शाम तक चलेगा। सत्र के दौरान विधानसभा अध्‍यक्ष का निर्वाचन और प्रदेश के राज्‍यपाल का अभिभाषण के साथ शासकीय कार्य भी होंगे। विधानसभा के प्रमुख सचिव एपी सिंह ने बताया कि इस सत्र में रविवार तक 203 विधायकों ने पंजीयन कराया है। नव नियुक्‍त विधायकों के सचिवालय में बनाए गए स्‍वागत कक्ष का कार्य इस सत्र अवधि तक जारी रहेगा। जहां शेष बचे 27 विधायक पंजीयन करा सकेंगे। कांग्रेस के सूत्रों के अनुसार सत्र के बीच में मंत्रीमंडल का विस्तार हो सकता है। तीन विधायकों को मंत्री पद की शपथ दिलाई जा सकती है। इसमें बुरहानपुर से निर्दलीय विधायक सुरेंद्र सिंह शेरा और बसपा के दो विधायकों में से एक तथा एक निर्दलीय विधायक को मंत्री बनाया जा सकता है।

राज्यपाल का अभिभाषण कल 8 जनवरी को

विधानसभा में राज्यपाल का अभिभाषण 8 जनवरी को होगा। परम्परा है कि नई सरकार के पहले विधानसभा सत्र में राज्यपाल का अभिभाषण होता है। 8 जनवरी को होने वाले अभिभाषण में कांग्रेसनीत सरकार को मिले जनादेश का उल्लेख होगा। चूंकि अभी सरकार को बने कुछ ही समय हुआ है, इसलिये इसमें उसकी उपलब्धियों का बखान कम ही होगा। अभिाभषण में किसानों का कर्ज माफ किये जाने और कन्या विवाह योजना में अनुदान राशि 51 हजार रुपये किये जाने का विशेष उल्लेख होगा। अब की बार का अभिभाषण ठीक वैसा ही होगा जैसा वर्ष 2003 में भाजपा सरकार आने पर हुआ था। तत्कालीन भाजपा सरकार का पहला अभिभाषण 16 दिसम्बर 2003 को हुआ था जिसमें तत्कालीन राज्यपाल रामप्रकाश गुप्त ने पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार की आलोचना की थी।

 

कांग्रेस की बैठक में कांग्रेस ने तय की रणनीति

कांग्रेस विधायक दल की बैठक रविवार शाम को मुख्यमंत्री कमलनाथ के निवास पर हुई।  इसमें पार्टी के समर्थन देने वाली बसपा के दो और समाजवादी पार्टी के एक विधायक सहित चार निर्दलीय विधायकों को भी आमंत्रित किया गया। बैठक में पूर्व मुख्‍यमंत्री दिग्विजय सिंह, सांसद ज्‍योतिरादित्‍य सिंधिया भी मौजूद थे। बैठक में कांग्रेस ने अध्‍यक्ष चुनाव को लेकर रणनीति बनाई तथा भाजपा द्वारा की जा रही विधायकों को तोड़ने की कोशिशों को एकजुट हो कर नाकामयाब करने का निर्णय लिया गया। सोमवार को भाजपा विधायक दल की बैठक शाम पांच बजे भाजपा कार्यालय में होगी। इसी में विपक्ष का नेता कौन होगा इस पर फैसला होगा। बैठक में केंद्रीय पर्यवेक्षक के रूप में गृहमंत्री राजनाथ सिंह, पार्टी के वरिष्ठ नेता विनय सहस्त्रबुद्धे मौजूद रहेंगे।

 

 

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