मुंबई में बारिश का आफतकाल, 30 हजार करोड़ के बजट वाली BMC की हर साल खुलती है पोल

 नई दिल्ली         
महाराष्ट्र की राजधानी मुंबई में बारिश आफत बनकर आई है. बारिश के चलते मुंबई में 4 लोगों की मौत हो गई है. वहीं ठाणे में भी एक शख्स की करंट लगने से मौत हुई है. यहां पर बारिश के चलते हुए हादसों में 5 लोग घायल भी हुए हैं. बीएमसी के मुताबिक शहर के अलग-अलग हिस्सों में शॉर्ट सर्किट के 39 मामले सामने आए हैं, जबकि पेड़ उखड़ने या गिरने की 104 घटनाएं हुई हैं.

बारिश के कारण मुंबई की सड़कें समंदर बन चुकी हैं और रेल की पटरियां डूब चुकी हैं. स्कूलों और घरों में पानी भरा है. मुंबई में बारिश ने अबकी बार सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं.

मुंबई की बारिश में रेल की पटरियां भी डूब चुकी हैं. इस मूसलाधार बारिश में कई ट्रेनें रद्द हो गई हैं, तो कई देरी से चल रही हैं. मुंबई के सेंट्रल रेलवे के जमब्रूंग और ठाकुरवाड़ी डाउन लाइन के बीच एक मालगाड़ी पटरी से उतर गई. जिसके चलते मुंबई से पुणे के लिए रवाना होने वाली इंटरसिटी ट्रेनों को रद्द कर दिया गया है. कुल 10 ट्रेनों को रद्द कर दिया गया है, जबकि 4 ट्रेनों को बीच में टर्मिनेट कर दिया गया.

4 साल बाद हुई इतनी बारिश

मुंबई के घाटकोपर इलाके में पिछले 24 घंटों में 300 मिलीमीटर बारिश रिकॉर्ड की गई है. बता दें कि मुंबई की बारिश ने जून में ही 97 फीसदी का कोटा पूरा कर लिया. शनिवार यानी 29 जून को सुबह साढ़े 8 बजे तक 234.8 मिलीमीटर बारिश दर्ज की गई. ये 2015 के बाद से एक दिन में होने वाली सबसे अधिक बारिश है.

इससे पहले 2015 में 19 जून को मुंबई में 283.4 मिलीमीटर बारिश हुई थी. ये 10 साल में एक दिन में होने वाली सबसे ज्यादा बारिश है. मुंबई में पिछले 4 दिन से रुक-रुक कर बारिश हो रही है. मौसम विभाग ने चेतावनी जारी की है कि अगले चौबीस घंटे मुंबई पर भारी हैं.

हर साल का वही हाल

ऐसे में अब सवाल उठता है कि मुंबई में जब सबको पता है कि ये बारिश का सीजन है, तो फिर बार-बार हर साल मुंबई की दुर्गति क्यों हो जाती है. एक चौंकाने वाली बात ये भी है कि बीएमसी में भ्रष्टाचार के आरोप भी खूब लग रहे हैं. ऐसा पहली बार नहीं है, बारिश में मुंबई मुश्किलों का सामना कर रही है. ये हाल उस वक्त है जब शहर के ड्रेनेज सिस्टम को संभालने वाली बीएमसी के पास 30 हजार करोड़ से ज्यादा का भारी भरकम बजट है.

विपक्षी पार्टियां पानी-पानी होती मुंबई के पीछे भ्रष्टाचार को जिम्मेदार ठहरा रही हैं तो नासिक में केके वॉग पॉलिटेक्निक के डिपार्टमेंट ऑफ सिविल इंजीनियरिंग के विशेषज्ञों ने एक रिसर्च की है. इस रिसर्च में जो खुलासा हुआ है, वो आपको चौंका देगा.

– मुंबई में जल निकासी का ज्यादातर हिस्सा अंग्रेजों के जमाने का है.

– मुंबई में जल निकासी का सिस्टम सन 1860 में बनाया गया था.

– तब आज के मुकाबले मुंबई की आबादी सिर्फ 10 फीसदी थी.

– मुंबई की आबादी तेजी से बढ़ी, मगर जल निकासी की क्षमता नहीं बढ़ी.

– मुंबई में 50 से 60 साल पुराने ड्रेनेज पाइप हैं. इनमें सिर्फ 30 फीसदी पाइप बदले गए हैं. यानी बहुत काम बाकी है.

– मुंबई में करीब 400 किलोमीटर लंबा अंडरग्राउंड ड्रेनेज सिस्टम है.

– ये ड्रेनेज सिस्टम सामान्य स्तर की बारिश को ही झेल सकता है.

– विशेषज्ञों ने ये लिखा है कि अगर बारिश 25 मिलिमीटर से ज्यादा हो जाए तो मुंबई के ड्रेनेज सिस्टम की हालत खराब होने लगती है.

अब बीएमसी जिन तैयारियों का दावा कर रही है, उनके बारे में जानते हैं

– बीएमसी ने पूरे शहर भर में 180 ऐसी जगहों की पहचान की, जहां पानी भरता है. इन जगहों पर पानी निकालने के लिए 235 पंप लगाने का दावा बीएमसी कर रही है.

– बीएमसी के ऑडिट में ये भी सामने आया है कि मुंबई में 29 पुल बेहद खतरनाक हैं.

– बीएमसी का दावा है कि 65 फीसदी नालों की सफाई की जा चुकी है.

– बीएमसी ने 499 बिल्डिंगों को खतरनाक बताया है.

– 10 हजार पेड़ों पर पोस्टर लगाएं है जिनमें लिखा है कि पेड़ों के नीचे वाहन ना खड़े करें. बीएमसी का दावा है कि 153 करोड़ से नालों की सफाई पर खर्च किये गए हैं.

– 50 करोड़ रुपए पेड़ों की कटाई और छटाई पर खर्च किए हैं. 15.86 करोड़ रुपए सड़कों के गड्ढे भरने पर. बीएमसी का दावा का 90 प्रतिशत ड्रेनेज सिस्टम साफ हो चुका है.

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