ब्याज दरों को नीचे लाने के लिए RBI का ऑपरेशन ट्विस्ट, सस्ता हो सकता है कर्ज

 नई दिल्ली 
पहली बार केंद्रीय बैंक ऐसा करेगा यह पहला मौका होगा जब आरबीआई ब्याज दरों को नीचे लाने के लिए ऑपरेशन ट्विस्ट का सहारा लेगा। आरबीआई इस साल अब तक रेपो दरों में 1.35 की कमी कर चुका है। जबकि 10 साल के बॉन्ड पर यील्ड (सरकारी प्रतिभूतियों पर रिटर्न) में महज 0.80 फीसदी तक की कमी आई है। इस साल फरवरी में यील्ड 7.55 फीसदी से घटकर 19 दिसंबर तक 6.75 तक पहुंचा है। वहीं बैंकों ने सिर्फ 0.60 फीसदी तक कर्ज सस्ता किया है।

क्या है आरबीआई का ऑपरेशन ट्विस्ट 

केन्द्रीय बैंक द्वारा एक साथ बॉन्ड की खरीद-बिक्री करने की कवायद को वित्तीय जगत में ऑपरेश ट्विस्ट के नाम से जाना जाता है। करीब एक दशक पहले अमेरिकी केन्द्रीय बैंक फेडरल रिजर्व ने ऐसा किया था। वित्त वर्ष 2011-12 में अमेरिकी फेडरल रिजर्व नें लंबी अवधि के कर्ज को सस्ता करने के मद्देनजर ऐसा कदम उठाया था।
कर्ज और सस्ता होने की राह खुलेगी

भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने 23 दिसंबर को एक साथ बॉन्ड की खरीदारी और बिक्री का निर्णय किया है। आरबीआई यह कदम खुली बाजार नीति (ओएमओ) के तहत उठाएगा जिसमें 10 साल की परिपक्वता वाले 10 हजार करोड़ रुपये का बॉन्ड खरीदेगा जबकि एक साल की परिपक्वता वाले इतने ही मूल्य के नए बॉन्ड जारी करेगा। आर्थिक विशेषज्ञों का मानना है कि इससे लंबी अवधि के बॉन्ड पर रिटर्न (यील्ड) घटेगा जिससे भविष्य में कर्ज और सस्ता होने की राह खुल जाएगी।
 
बैंक कोष की सीमांत लागत (एमसीएलआर) के आधार पर कर्ज की दरें तय करते हैं। इसको रेपो रेट, 10 साल या उससे अधिक अवधि वाले बॉन्ड पर यील्ड और बैंक के अन्य खर्च के आधार पर तय किया जाता है। बॉन्ड पर यील्ड 6.75 फीसदी है। ऐसे में बैंक सिर्फ 1.25 फीसदी ऊंचे ब्याज पर आपको कर्ज दे रहे हैं। यदि बॉन्ड पर यील्ड घटे तो बैंक से मिलने वाला कर्ज और सस्ता हो सकता है।
 
क्या होगा असर
नए बॉन्ड आज की दरों पर जारी किए जाएंगे जिसमें कम रिटर्न मिलेगा। ऐसी स्थिति में पुराने बॉन्ड की मांग ज्यादा और आपूर्ति कम होने से उसपर यील्ड बढ़ जाती है। लेकिन जब वैसे बॉन्ड को केन्द्रीय बैंक बड़ी मात्रा में खरीदने का फैसला करता है तो बॉन्ड की कीमत थोड़ी जरूर बढ़ जाती है लेकिन यील्ड घट जाता है। इससे लंबी अवधि के बॉन्ड कम आकर्षक हो जाते हैं जिसकी वजह से कर्ज की दरें भी घट जाती हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *