बागी कांग्रेसियों के वकील से बोला SC, ‘बच्‍चों की कस्‍टडी नहीं है ये’

नई दिल्ली

मध्‍य प्रदेश के पॉलिटिकल ड्रामे की गूंज भोपाल, बेंगलुरु से लेकर नई दिल्‍ली तक सुनाई दे रही है। भोपाल में जहां पूरी राजनीति का केंद्र है, वहीं बेंगलुरु में बागी कांग्रेस विधायक एक रिजॉर्ट में रुके हुए हैं। बुधवार को वहां भी हाई-वोल्‍टेज ड्रामा हुआ। हालांकि पूरा दिन नजर रही दिल्‍ली पर, जहां सुप्रीम कोर्ट में पूर्व मुख्‍यमंत्री शिवराज सिंह चौहान व अन्‍य भाजपा नेताओं की याचिका पर सुनवाई हुई। इन सभी ने टॉप कोर्ट से विधानसभा में बहुमत परीक्षण कराने की मांग की है। बुधवार को जब अदालत में दोनों पक्ष आमने-सामने आए तो तीखी बहस हुई। मुख्‍यमंत्री कमलनाथ की तरफ से अदालत में तर्क दिया गया कि वह अपने बागी विधायकों से मिलना चाहते हैं। तो बागी विधायकों के वकील ने कहा कि विधायक आपसे नहीं मिलना चाहते। इस पर सुप्रीम कोर्ट ने दोनों पक्षों को शांत कराते हुए कहा कि 'ये बच्‍चों की कस्‍टडी का मामला नहीं है।' बागी विधायकों ने इसके बाद कहा कि वे सुप्रीम कोर्ट के सामने पेश होने को तैयार हैं। जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ ने उनके वकील से कहा कि 'मैं कारण जानता हूं कि क्यों आप ऐसा कह रहे हैं। लेकिन ये सही नहीं होगा। हम सुनवाई गुरुवार के लिए स्थगित करते हैं।' दूसरी तरफ, कर्नाटक हाई कोर्ट ने बेंगलुरु में रह रहे मध्य प्रदेश के विधायकों से मुलाकात की मांग वाली दिग्विजय सिंह की याचिका खारिज की।

बागी विधायकों के मामले में सुप्रीम कोर्ट के मुताबिक, 16 बागी विधायक या तो सीधा सदन के पटल पर जा सकते हैं या नहीं, लेकिन निश्चित रूप से उन्हें बंधक नहीं बनाया जा सकता है। कोर्ट ने कहा कि फिलहाल उसे पता है कि 16 बागी विधायक मध्य प्रदेश में पलड़ा किसी भी ओर झुका सकते हैं। वह इस बात का फैसला करने के लिये विधायिका की राह में नहीं आ रहा है कि किसे सदन का विश्वास हासिल है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि 'संवैधानिक अदालत के तौर पर हमें अपने कर्तव्यों का निर्वहन करना है।' कोर्ट ने कहा कि, उसका काम यह सुनिश्चित करना है कि बागी हुए 16 विधायक अपनी पसंद स्‍वतंत्र होकर जाहिर करें।

SC ने स्पीकर से पूछा- विधायकों के इस्तीफे पर फैसला क्यों नहीं लिया

 

मध्य प्रदेश में गहराए सिसायी संकट पर सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने विधानसभा स्पीकर से सवाल किया कि आखिर आपने विधायकों के इस्तीफे पर अभी तक फैसला क्यों नहीं लिया? क्या ये विधायक अपने आप अयोग्य नहीं हो जाएंगे? अगर आप संतुष्ट नहीं हैं, तो आप विधायकों के इस्तीफे को अस्वीकार कर सकते हैं. आपने 16 मार्च को बजट सत्र को टाल दिया. अगर आप बजट को पास नहीं करेंगे, तो राज्य सरकार का कामकाज कैसे चलेगा? इससे पहले सुप्रीम कोर्ट में कमलनाथ ने दलील की, 'मैं कांग्रेस का सदस्य हूं और मध्य प्रदेश का मुख्यमंत्री हूं. बागी विधायक भी कांग्रेसी हैं. मैं उनसे मिलना चाहता हूं.' इस पर बागी विधायकों के वकील ने दलील दी कि कमलनाथ से विधायक नहीं मिलना चाहते हैं. इसके बाद जस्टिस चंद्रचूड़ ने कमलनाथ के वकील कपिल सिब्बल से कहा कि हम विधायकों से मिलने का आदेश नहीं दे सकते हैं. यह बच्चों का मामला नहीं हैं. इस बीच जस्टिस चंद्रचूड़ ने विधानसभा स्पीकर से पूछा कि अगर कल विधायक आपके सामने आ जाएं, तो क्या आप उनके इस्तीफे पर निर्णय कर लेंगे?

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