फंसते जा रहे आजम खां, अब ईडी के रडार पर, कसेगा और शिकंजा

 यूपी
सपा सांसद एवं पूर्व मंत्री मो. आजम खां रामपुर जिले की शत्रु सम्पत्तियों पर कब्जे के मामले में गंभीर रूप से फंसते नजर आ रहे हैं। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की जांच फिलहाल इसी बिन्दु पर केंद्रित हो गई है। इसमें आजम खां से पूछताछ के लिए जल्द ही नोटिस भी जारी हो सकती है। 

मोहम्मद अली जौहर विश्वविद्यालय के निर्माण के लिए शत्रु संपत्तियों पर अवैध कब्जा किए जाने की शिकायतों के बारे में ईडी को रामपुर के जिला प्रशासन से कई दस्तावेजी साक्ष्य मिले हैं। जिला प्रशासन की रिपोर्ट में कहा गया है कि शत्रु संपत्तियों पर कब्जा करके जौहर विश्वविद्यालय बनाया गया है। 

शत्रु संपत्ति ऐसी अचल संपत्ति होती है जो पहले देश के बंटवारे के बाद पाकिस्तान चले गए लोगों की थी। ये संपत्तियां अब शत्रु सम्पत्ति कानून के तहत आती हैं। जिले में जिलाधिकारी इन संपत्तियों के 'कस्टोडियन' होते हैं। ईडी ने जिला प्रशासन से उन आदेशों के बारे में पूछा है, जिनके द्वारा शत्रु सम्पत्ति में आने वाली भूमि जौहर विश्वविद्यालय की स्थापना के लिए दी गई थी। सूत्रों के अनुसार ईडी ने शत्रु सम्पत्तियों पर अवैध कब्जे की शिकायत करने वालों को भी साक्ष्यों के साथ अपने कार्यालय में बुलाया है। 

इससे पहले ईडी के लखनऊ जोन कार्यालय ने मो. आजम खां के विरुद्ध प्रिवेंशन आफ मनी लांड्रिंग एक्ट 2002 (पीएमएलए) के तहत केस दर्ज किया था। ईडी ने आजम के विरुद्ध रामपुर में दर्ज उन 26 मुकदमों को अपने केस का आधार बनाया है, जिनमें उन पर जमीनों पर जबरन कब्जा करने के आरोप हैं। इससे पहले ईडी ने रामपुर के जिला प्रशासन से उनके विरुद्ध दर्ज मुकदमों के बारे में रिपोर्ट मांगी थी। रिपोर्ट प्राप्त होने के बाद केस दर्ज करने की औपचारिक मंजूरी के लिए प्रकरण ईडी मुख्यालय को भेजा गया था। मुख्यालय की मंजूरी मिलने के बाद यह केस दर्ज किया गया। 

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