प्रियंका गांधी की एंट्री से यूपी में BJP को त्रिकोणीय मुकाबले की उम्मीद

 नई दिल्ली 
राजनीति में प्रियंका गांधी की एंट्री और उन्हें पूर्वी यूपी का प्रभार दिए जाने के बाद बीजेपी को उम्मीद है कि उत्तर प्रदेश में अब त्रिकोणीय मुकाबला होने जा रहा है। बीजेपी को प्रियंका की एंट्री से एक सकारात्मक उम्मीद है कि अब प्रदेश में एसपी-बीएसपी महागठबंधन को टक्कर देने के लिए बीजेपी के साथ कांग्रेस भी है। बीजेपी त्रिकोणीय मुकाबले में अपने लिए मौके तलाश रही है।  
 बीजेपी के पास वंशवाद और वाड्रा मुद्दा 
बीजेपी को इसकी भी आशंका है कि प्रदेश में कांग्रेस को मजबूत करने के लिए पार्टी कई जगहों पर उम्मीदवार बदल सकती है। हालांकि, इस वक्त प्रदेश और केंद्र में बीजेपी दोनों की सरकार है और सत्ताधारी पार्टी प्रियंका के पति रॉबर्ट वाड्रा पर लगे भ्रष्टाचार के आरोपों पर जमकर निशाना साधेगी। बीजेपी के पास कांग्रेस की वमशवादी राजनीति पर आघात करने का हथियार तो है ही। सत्ताधारी भगवा पार्टी प्रियंका के पति पर लगे आरोपों की जांच प्रभावित करने के लिए राजनीति में उतरने का आरोप भी लगा सकती है। 
 पूर्वी यूपी में बीजेपी का बड़ा चेहरा और रेल राज्य मंत्री मनोज सिन्हा का कहना है कि प्रियंका की राजनीति में उतरने को लेकर जितनी चर्चा मीडिया में हो रही है उतनी जमीन पर नहीं। सिन्हा ने कहा, 'मैंने पिछले एक दिन में हजारों लोगों से बात की और उनके फीडबैक लिए। मैंने उन लोगों से बात की है जो बीजेपी कार्यकर्ता नहीं है।' 
 बीजेपी को ब्राह्मण वोट नहीं बटने की उम्मीद 
बीजेपी कार्यकर्ताओं का दावा है कि अपर कास्ट वोट खास तौर पर ब्राह्मणों के वोट बीजेपी को ही मिलेंगे। पार्टी सामान्य वर्ग के छात्रों को शिक्षा और रोजगार में 10% आरक्षण भी अपना ट्रंप कार्ड मान रही है। हालांकि, यूपी की राजनीति पर नजर रखनेवाले लोगों का कहना है कि एससी/एसटी ऐक्ट और मुख्यमंत्री एक ठाकुर योगी आदित्यनाथ को बनाए जाने के कारण भी कुछ नाराजगी ब्राह्मणों में है। इस कारण से भी ब्राह्मण बीजेपी को छोड़कर कांग्रेस का साथ पकड़ सकते हैं। 
 त्रिकोणीय मुकाबले में अपने लिए उम्मीद देख रही बीजेपी 
बीजेपी को फिर भी उम्मीद है कि प्रियंका की एंट्री से कांग्रेस को कुछ लाभ तो मिल सकता है, लेकिन यह बीजेपी के लिए भी फायदेमंद है। बीजेपी को महागठबंधन से जो खतरा दिख रहा था, वह अब प्रियंका के आने के बाद त्रिकोणीय होने की उम्मीद है। कांग्रेस को पूर्वी यूपी के सुल्तानपुर, कुशीनगर, प्रतापगढ़, बहराइच, कानपुर जैसे इलाकों में प्रियंका के दम पर जमीन मजबूत होने की उम्मीद है। हालांकि, बीजेपी को यह भी चिंता है कि कुछ सीटों पर एसपी-बीएसपी के साथ अगर कांग्रेस का गठबंधन बन गया तो फिर मुस्लिम वोट नहीं बनेंगे और वहां बीजेपी की स्थिति और भी कमजोर हो जाएगी। 

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