पाकिस्तान एयरलाइंस बंद होने की कगार पर, बेल आउट पैकेज देने से इमरान का इनकार

इस्लामाबाद    
पाकिस्तान इंटरनेशनल एयरलाइंस (पीआईए) ने अपनी सेवाएं सुचारू रूप से जारी रखने के लिए इमरान खान सरकार से अतिरिक्त 10 अरब रुपये की मांग की। अंतरार्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) के ऋण समझौते से बंधे होने के चलते पाकिस्तान इंटरनेशनल एयरलाइंस को बेल आउट पैकेज देने से सरकार ने शुक्रवार को अनिच्छा दिखाई। पीआईए के प्रबंधन ने वित्त मामलों में प्रधानमंत्री के सलाहकार डॉ. अब्दुल हफीज शेख के साथ बैठक में बेल आउट पैकेज की मांग की।

सत्ता में आने के बाद से तहरीक -ए-इंसाफ (पीटीआई) की सरकार पहले ही करीब 38 अरब रुपये के दो बेलआउट पैकेज एयरलाइंस को दे चुकी है। विदेशी ऋण वापसी और विमान की मरम्मत करने के लिए नई सहायता मांगी गई है। द एक्सप्रेस ट्रिब्यून ने वित्त मंत्रालय के सूत्रों के हवाले से कहा कि अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) के साथ हुआ समझौते मंत्रालय को इस बात की अनुमति नहीं देता है कि वह पीआईए प्रबंधन को वाणिज्यिक बैंकों से धन उधार लेने में मदद करे।

आईएमएफ ने चालू वित्त वर्ष के लिए संप्रभु गारंटी को  1.611 खरब पर रखने के लिए एक प्रदर्शन मानदंड रखा है। इसके अनुसार पीआईए की संप्रभु गारंटी 212 अरब रुपये थी। हालांकि, इस साल फरवरी में संघीय कैबिनेट ने संप्रभु गारंटी सीमा में 222 अरब रुपये तक के विस्तार को मंजूरी दी थी। इसी आईएमएफ प्रतिबंध के कारण सरकार सकुर्लर के माध्यम से ऋण को समाप्त करने के लिए 200 अरब रुपये उधार लेने में सक्षम नहीं है। आईएमएफ ने यह प्रतिबंध इसलिए लगाए हैं ताकि घाटों में चल रहे उद्यमों में राजकोषीय और प्रशासनिक अनुशासन आए।

पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी के सत्ता में एक साल पूरा करने के अंतिम माह में पब्लिक सेक्टर इंटरप्राइज (पीएसई) के कर्ज में एक साल के भीतर ही 47 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी हुई, जिससे यह बढ़कर 2.1 खरब रुपये हो गया। सूत्रों ने कहा है कि पाकिस्तान इंटरनेशनल एयरलाइंस प्रबंधन ने वित्तमंत्रालय से अनुरोध किया है कि वह समर्थन बढ़ाने को लेकर एक पत्र जारी करें ताकि गारंटियों को पूरी तरह से समाप्त किया जा सके। वित्त मंत्रालय द्वारा जारी किए गए एक बयान में कहा गया, “सलाहकार ने राजकोषीय स्थान की उपलब्धता को ध्यान में रखते हुए वित्त मंत्रालय को पाकिस्तान इंटरनेशनल एयरलाइंस प्रबंधन के साथ करीब से काम करने का निर्देश दिया।”

मंत्रालय के एक अधिकारी ने इस बारे में बात करते हुए कहा कि कितनी वित्त साहयता दी जा सकती है, यह इस बात पर निर्भर करेगा कि पीआईए प्रबंधन अपने समीक्षात्मक दावों को लेकर क्या कदम उठाता है। इसमें राजस्व को बढ़ाना और कटौती करना शामिल होगा। पाकिस्तान इंटरनेशनल एयरलाइंस के चीफ एग्जिक्यूटिव ऑफिसर एयर मार्शल अरशद मलिक ने दावा किया है कि पीआईए की संपत्तियों के सवोर्त्तम उपयोग के कारण एयरलाइन की परिचालन लागत में उल्लेखनीय कमी आई।

 

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