धार जिले में थम्मन तालाब के जीर्णोद्धार से झरने को मिला नया जीवन

 भोपाल

धार जिले की ग्राम पंचायत कोठी सोढपुर के ऐतिहासिक थम्मन तालाब के जीर्णोद्धार से माण्डू काकडा खो झरने को नया जीवन मिल गया है। अब यह झरना पर्यटन स्थल का स्वरूप ले चुका है। इससे तीन पंचायतों के 50 हेक्टेयर क्षेत्र में फसलों को पूरे साल सिंचाई के लिए पानी भी मिल रहा है। राज्य सरकार द्वारा मनरेगा योजना से प्राचीन तालाबों के जीर्णोद्धार के निर्णय से यह सम्भव हुआ है।

ग्राम पंचायत में वर्षों पुराना दल थम्मन तालाब था। जीर्ण-शीर्ण अवस्था से इसका सारा पानी बह जाता था। ग्राम पंचायत ने मनरेगा से इसको पुनर्जीवित किया। तालाब में जल संचय के लिये 300 मीटर की बेंड बनाई गई। इस काम पर लगभग 10 लाख रूपये खर्च हुए। इससे पानी का बहाव रूक गया। अब तालाब में लगभग आठ मीटर गहराई तक 53 हजार घनमीटर पानी जमा हो गया है। पानी रूकने से आस-पास के क्षेत्र का जल-स्तर बढ़ गया है और गाँव में सिंचाई सुविधा बेहतर हो गई है और पशुओं को भी निस्तार के लिए भरपूर पानी मिल रहा है।

दल थम्मन तालाब के जीर्णोद्धार से जल-संरक्षण का संकल्प पूरा हुआ है। तालाब के पास का 30-40 फीट गहरा काकडा खो झरना अब बहने लगा है। यह झरना सुप्रसिद्ध पर्यटन स्थल माण्डू आने वाले पर्यटकों के लिये आकर्षण का केन्द्र बन गया है। सरपंच श्याम भूरिया ने बताया कि तालाब में अब इतना पानी रूका है, जिससे आस-पास की तीन ग्राम पंचायतों को सिंचाई का स्थाई जरिया मिल गया है। गाँव के मदन गिरवाल ने बताया कि अब गेहूँ की फसल भी ले सकेंगे। अभी तक सिंचाई का इंतजाम नहीं होने से केवल बरसाती फसल ही ले पाते थे। स्थानीय लोग अच्छी फसल की निश्चिंतता और प्राकृतिक जल-स्त्रोत मिलने से उत्साहित हैं।

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