डीजीसीए ने भारत में भी विमान में ऐपल मैकबुक प्रो के कुछ मॉडलों को लाने-ले जाने पर लगाई पाबंदी

नई दिल्ली 
नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA) ने विमान में ऐपल मैकबुक प्रो के कुछ मॉडलों को लाने-ले जाने पर पाबंदी लगा दी है। इन लैपटॉप की बैट्रियों के ज्यादा गर्म होने के बाद उनमें आग लगने के खतरे के मद्देनजर इन्हें चेक इन और केबिन बैग में ले जाने पर प्रतिबंध लगाया गया है। 
डीजीसीए ने सोमवार को कहा, 'वह तमाम हवाई यात्रियों से अनुरोध करता है कि वे लैपटॉप के अफेक्टेड मॉडल के साथ तब तक यात्रा न करें, जबतक कि मैन्युफैक्चरर द्वारा बैट्री को सेफ न बता दिया गया हो या उसे बदल न दिया गया हो।' 
 
विमानन नियामक ने कहा कि यह ऑर्डर इसलिए जारी किया जा रहा है, क्योंकि ऐपल ने सीमित संख्या में पुराने जेनरेशन वाले 15 इंच के मैकबुक प्रो लैपटॉप को वापस मंगाया है। इन लैपटॉप की बिक्री सितंबर 2015 और फरवरी 2017 के बीच की गई थी। कंपनी ने आशंका जताई है कि इनकी बैट्रियां बेहद ज्यादा गर्म हो सकती हैं, जो सुरक्षा की दृष्टि से खतरनाक साबित हो सकती हैं। 

डीजीसीए के प्रमुख अरुण कुमार द्वारा जारी ऑर्डर के मुताबिक, यह आदेश भारत में यात्रा करने वाले यात्रियों तथा भारत से अंतरराष्ट्रीय उड़ान पकड़ने वाले यात्रियों पर लागू होगा। 

यूरोपियन एविएशन सेफ्टी एजेंसी और यूएस फेडरल एविएशन ऐडमिनिस्ट्रेशन ने ऐपल लैपटॉप ले जाने पर बैन लगा दिया है। इस महीने की शुरुआत में ही यह बैन लागू किया गया है। सिंगापुर एयरलाइंस और थाई एयरवेज ने भी इस बैन को अपने यहां लागू कर दिया है। 

सिंगापुर एयरलाइंस ने अपनी वेबसाइट पर नोटिस लगाया है, 'यात्री अपने साथ ऐपल लैपटॉप विमान में न तो हैंडबैग में और न ही चेक इन बैग में लेकर जा सकते हैं। बैटरी को जब तक सुरक्षित नहीं घोषित किया जाएगा, या फिर कंपनी द्वारा बैटरी को बदला नहीं जाएगा यह बैन प्रभावी रहेगा।' 
 

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