चिदंबरम को जेल में ही मनाना पड़ेगा 74वां बर्थडे

नई दिल्ली
आईएनएक्स मीडिया मामले में आरोपी कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व वित्त मंत्री पी. चिदंबरम को अपना 74वां जन्मदिन तिहाड़ जेल में ही मनाना होगा। दिल्ली हाई कोर्ट ने गुरुवार को सीबीआई को निर्देश दिया कि वह एक सप्ताह के भीतर आईएनएक्स मीडिया भ्रष्टाचार मामले में कांग्रेस नेता की जमानत याचिका पर अपनी स्टेटस रिपोर्ट दाखिल करें। बता दें कि चिदंबरम 16 सितंबर को 74 साल के हो रहे हैं और हाई कोर्ट ने उनकी जमानत याचिका पर सुनवाई के लिए 23 सितंबर की तारीख तय की है।

वहीं, दूसरी तरफ प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने दिल्ली की एक कोर्ट को बताया कि वह फिलहाल चिदंबरम को गिरफ्तार नहीं करना चाहती। ईडी ने चिदंबरम की सरेंडर की याचिका का विरोध करते हुए कहा कि वह अभी जेल में हैं, इसलिए गवाहों या सबूतों को प्रभावित नहीं कर कर सकते। ईडी ने कहा कि वह इस मामले में 6 अन्य लोगों से पूछताछ करना चाहती है, इसलिए चिदंबरम को वह बाद में उचित समय पर गिरफ्तार करना चाहती है। चिदंबरम के वकील कपिल सिब्बल ने इसका विरोध करते हुए कहा कि इसके पीछे ईडी की मंशा उनके मुवक्किल को परेशान करने की है।

बता दें कि कांग्रेस नेता फिलहाल 19 सितंबर तक न्यायिक हिरासत में हैं। मामले में चिदंबरम को 19 सितंबर को निचली अदालत में पेश किया जाएगा। कांग्रेस की अगुवाई वाले यूपीए सरकार में 2004 से 2014 तक केंद्रीय मंत्री रह चुके चिदंबरम को केंद्रीय जांच एजेंसी ने 21 अगस्त को उनके घर से गिरफ्तार किया था। वित्त मंत्री के रूप में चिदंबरम के कार्यकाल में 2007 में 305 करोड़ रुपये के विदेशी धन प्राप्त करने के लिए आईएनएक्स मीडिया समूह को विदेशी निवेश संवर्धन बोर्ड (एफआईपीबी) की मंजूरी देने में अनियमितता का आरोप लगाते हुए केंद्रीय जांच ब्यूरो ने 15 मई 2017 को उनके खिलाफ एक प्राथमिकी दर्ज की थी। इसके बाद प्रवर्तन निदेशालय ने 2017 में उनके खिलाफ धन शोधन का मामला दर्ज किया था।

जेल में नहीं मिलेगा घर का खाना
वहीं, दिल्ली हाई कोर्ट ने चिदंबरम को जेल में घर का खाना मुहैया कराने से भी इनकार कर दिया है। सुनवाई के दौरान कोर्ट ने कहा कि जेल में सभी के लिए एक समान भोजन उपलब्ध है, कोई घर का खाना नहीं मंगवा सकता। इससे पहले चिदंबरम के वकील कपिल सिब्बल ने कोर्ट से अनुरोध किया था कि उनके मुवक्किल को जेल में घर का बना हुआ खाना मंगवाने की अनुमति दी जानी चाहिए। इस पर सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने जवाब दिया, 'ओम प्रकाश चौटाला भी वृद्ध हैं और एक राज्य के राजनेता होते हुए सजा भुगत रहे हैं। हम किसी के साथ भेदभाव नहीं कर सकते।'

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *