कांग्रेस सरकार के खिलाफ आंदोलन की तैयारी में सपाक्स

भोपाल
मध्य प्रदेश में सवर्ण आंदोलन के चलते बीजेपी को अपनी सरकार गंवानी पड़ी थी। अब कांग्रेस सत्ता में है लेकिन एक बार फिर सवर्ण आंदोलन की आहट सुनाई दे रही है। सामान्य, पिछड़ा एंव अल्पसंख्यक वर्ग अधिकारी-कर्मचारी(सपाक्स) पार्टी ने मुख्यमंत्री कमलनाथ से पदोन्नति में आरक्षण पर स्थिति स्पष्ट करने की मांग की है। यही नहीं पार्टी के पदाधिकारियों ने मुख्यमंत्री कमलनाथ पर भेदभाव के आरोप भी लगाए हैं। हाल ही में सपाक्स की बैठक आयोजित की गई थी। इसमें सीएम की दोहरी नीतियों के खिलाफ निंदा प्रस्ताव भी पारित किया गया।

सपाक्स के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ हीरालाल त्रिवेदी ने मुख्यमंत्री कमलनाथ पर आरोप लगाते हुए कहा कि वह पूर्व सीएम शिवराज के नक्शे पर चल रहे हैं। उन्होंने कहा कि सीएम सामान्य, पिछड़ा और अल्पसंख्यक वर्ग की मांगों पर विचार नहीं कर रहे हैं। लेकिन वह अजाक्स के कार्यक्रम में शामिल हुए और उन्होंने वहां पदोन्नति में आरक्षण नियम लागू करने के लिए वादा किया है। यह एक गंभीर मामला है। इससे शासकीय मशीनरी भी दो फाड़ हो सकती है।  दिग्विजय सिंह सरकार ने जहर के बीज पदोन्नति में आरक्षण नियम बनाकर 2002 में बोए थे, उसे मप्र उच्च न्यायलय ने 2016 में समाप्त कर दिया। सपाक्स पार्टी के प्रवक्ता डॉ शैलेंद्र व्यास ने कहा कि कि यदि कमलनाथ सरकार ने सपाक्स वर्ग के लोगों के साथ न्याय नहीं किया तो प्रदेश व्यापी आंदोलन करेंगे और आने वाले समय में प्रदेश को बंद भी रखेंगे।

त्रिवेदी ने कहा कि 40,000 कर्मचारियों और अधिकारियों को 2002 और 2016 के बीच पदोन्नति के बिना सेवानिवृत्त कर दिया गया जबकि उनके एससी / एसटी समकक्षों को इससे लाभ हुआ। उन्होंने कहा कि पदोन्नति में आरक्षण पर सरकार के रुख के खिलाफ राज्यपाल और मुख्य सचिव को ज्ञापन सौंपे जाएंगे और सरकार के एक महीने का समय देने के बाद सड़कों पर विरोध प्रदर्शन किया जाएगा।

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