अनशन पर बैठे अन्ना बोले- नहीं पूरी हुई मांगें तो लौटा दूंगा पद्म भूषण अवॉर्ड

 रालेगण

सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे 30 जनवरी से ही अपने गांव रालेगण सिद्धि में लोकपाल के मुद्दे पर अनशन दे रहे हैं. केंद्र सरकार से खफा अन्ना हजारे का कहना है कि वह भारत सरकार के द्वारा मिला पद्म भूषण सम्मान राष्ट्रपति को लौटा देंगे. अन्ना हजारे पिछले 5 दिनों से अनशन पर हैं और लोकपाल नियुक्त करने की मांग कर रहे हैं.

रविवार को अन्ना हजारे ने कहा, ‘’मैं अपना पद्म भूषण सम्मान राष्ट्रपति को वापस लौटाउंगा. मैंने ये अवॉर्ड सामाजिक सेवा के लिए लिया था, लेकिन जब देश इस स्थिति में है, तो मैं कैसे ये अवॉर्ड रख सकता हूं?’’ आपको बता दें कि सामाजिक सेवा के लिए अन्ना हजारे को 1990 में पद्म श्री और 1992 में पद्म भूषण से सम्मानित किया गया था.

आपको बता दें कि इससे पहले अनशन पर बैठे अन्ना हजारे ने कहा था कि अगर उन्हें कुछ होता है तो उसके लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ही जिम्मेदार होंगे. उन्होंने कहा कि अगर लोकपाल की नियुक्ति होती है तो काफी घोटाले रुकेंगे और प्रधानमंत्री भी इसके अधीन आएंगे.

गौरतलब है कि जन आंदोलन सत्याग्रह बैनर तले आंदोलन कर रहे अन्ना हजारे की मांग है कि केंद्र में लोकपाल और राज्य में लोकायुक्त की नियुक्ति होनी चाहिए. शनिवार को अन्ना के समर्थकों ने दावा किया कि प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से उन्हें एक चिट्ठी मिली थी, जिसमें अनशन को लेकर प्रधानमंत्री की तरफ से अन्ना को शुभकामनाएं दी गई थीं.

बता दें कि अन्ना हजारे इससे पहले भी कई मुद्दों पर सरकार के खिलाफ हल्ला बोल कर चुके हैं. अनशन शुरू करने से पहले अन्ना हजारे ने कहा था कि वह इस मुद्दे पर चार बार बात कर चुके हैं, लेकिन सरकार की ओर से कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था. अन्ना ने मांगों के समाधान को वास्तविकता में तब्दील हो जाने तक अपना आंदोलन जारी रखने का संकल्प लिया.

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