कैबिनेट का विस्तार जल्द, राहुल लगाएंगे नामों पर मुहर
भोपाल
लोकसभा चुनाव की आचार संहिता लगने से पहले मुख्यमंत्री कमलनाथ अपने मंत्रिमंडल का विस्तार कर सकते हैं। इस विस्तार में पांच नए चेहरों को शामिल किया जा सकता है। इस पर अंतिम फैसला पार्टी अध्यक्ष राहुल गांधी को लेना है। कमलनाथ शुक्रवार को चार दिन की दिल्ली यात्रा पर रवाना हो गए। वे वहां राहुल गांधी से इस संबंध में चर्चा करने वाले हैं। कमलनाथ 24 से 26 जनवरी तक दाभोस में रहेंगे। वहां से लौटने के बाद मंत्रिमंडल विस्तार की संभावना है। इस विस्तार के जरिए कमलनाथ असंतुष्टों को साधने की कोशिश कर रहे हैं। मंत्रिमंडल विस्तार में कांग्रेस के वरिष्ठ विधायकों के साथ बसपा, सपा और निर्दलीय विधायकों को भी मौका दिया जाएगा। कमलनाथ बसपा सुप्रीमो मायावती से भी चर्चा करेंगे। बसपा के दो विधायकों में से एक को ही मंत्री बनाया जाना है।
मंत्रिमंडल विस्तार का समीकरण
कमलनाथ नाराज पार्टी विधायकों और असंतुष्ट सहयोगी दलों को साधने के लिए कैबिनेट विस्तार कर रहे हैं। कांग्रेस के वरिष्ठ विधायक केपी सिंह और बिसाहूलाल सिंह को मंत्रिमंडल में शामिल किया जा सकता है। केपी सिंह की नाराजगी और अनुपस्थिति विधायक दल की बैठक में भी चर्चा का विषय रही। वे राहुल गांधी से भी इस संबंध में आपत्ति दर्ज करा चुके हैं। बिसाहूलाल भी राहुल गांधी को शिकायत कर चुके हैं। आदिवासी नेता के नाम पर बिसाहूलाल को इस विस्तार में जगह मिल सकती है। विधानसभा अध्यक्ष के चुनाव के समय बसपा के तेवर भी तीखे थे। बसपा विधायक रामबाई ने अल्टीमेटम देकर साफ शब्दों में मंत्री बनाने की मांग कर दी थी। बसपा के दो विधायक संजीव कुशवाहा और रामबाई में से किसी एक को मंत्रिमंडल में जगह दी जा सकती है। सपा के प्रदेश अध्यक्ष गौरीसिंह यादव भी कांग्रेस को चेतावनी दे चुके हैं। सपा के एकमात्र विधायक राजेश शुक्ल को जगह दी जाएगी। निर्दलीयों में से सुरेन्द्र सिंह शेरा को शामिल किए जाने पर विचार किया जा सकता है।
कांग्रेस को हॉर्स ट्रेडिंग की आशंका
विधानसभा सत्र के दौरान कांग्रेस हॉर्स ट्रेडिंग की आंशका से जूझती रही। स्पीकर और डिप्टी स्पीकर के चुनाव के पहले भी कांग्रेस को विशेष सतर्कता बरतनी पड़ी। इन्हीं आशंकाओं को दूर करने कांग्रेस के लिए मंत्रिमंडल विस्तार जरूरी हो गया है। आने वाले लोकसभा चुनाव को देखते हुए पार्टी को एकजुट रखना भी बेहद अहम है, इसीलिए कमलनाथ मंत्रिमंडल विस्तार कर लोकसभा चुनाव की तैयारियों में जुटना चाहते हैं।