Budget 2019: नया नहीं है किसानों को मोदी सरकार का कैश का ऐलान, इन राज्यों में पहले से है प्रावधान

 
नई दिल्ली 

नरेंद्र मोदी सरकार ने किसानों की नाराजगी को दूर कर उनके दिल में जगह बनाने के लिए इनकम सपोर्ट प्रोग्राम का बड़ा दांव चला है. लोकसभा चुनाव 2019 से पहले मोदी सरकार ने अपने आखिरी और अंतरिम बजट में किसानों के लिए बड़ा ऐलान किया है. बजट में सीमांत किसानों को 6 हजार रुपये प्रतिवर्ष देने की घोषणा की गई है. पीएम से लेकर केंद्र सरकार के मंत्री इसे बड़ी योजना बता रहे हैं. लेकिन देश के कई राज्य सरकारें हैं, जो मोदी सरकार से ज्यादा रकम किसानों को दे रही हैं.

केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने शुक्रवार को अंतिरम बजट पेश करते हुए किसानों के लिए 'पीएम किसान सम्मान निधि' योजना शुरू की. उन्होंने कहा कि जिन किसानों के पास 2 हेक्टयर तक जमीन है उन्हें हर साल 6 हजार रुपए दिए जाएंगे. इससे देश के 12 करोड़ किसान परिवारों को लाभ मिलेगा. इससे सरकार पर कुल 75 हजार करोड़ रुपए का खर्च बढ़ेगा. यह योजना एक दिसंबर 2018 से लागू होगी, जिसकी पहली किस्त 31 मार्च 2019 की अवधि तक किसानों के खाते में होगी.

हालांकि मोदी सरकार से पहले कई राज्य सरकारें किसानों की आर्थिक हालत को सुधारने के लिए कैश ट्रांसफर स्कीम चला रही हैं. इतना ही नहीं ये राज्य सरकारें मोदी सरकार से ज्यादा रकम किसानों के देने का काम कर रही हैं.

तेलंगाना 8 हजार रुपये प्रतिवर्ष

तेलंगाना की के. चंद्रशेखर राव सरकार किसानों को पहले से ही 'रायतु बंधू योजना' के तहत कृषि में निवेश-खाद, बीज, कीटनाशक इत्यादि के समर्थन के लिए किसानों को 4 हजार रुपये प्रति एकड़ और प्रति सीजन देती है. एक साल में किसान आमतौर पर सीजन की खेती करते हैं. इस तरह से केसीआर सरकार किसानों को सालाना 8 हजार रुपये दे रही है.

ओडिशा 10 हजार सालाना दे रही

ओडिशा की नवीन पटनायक सरकार किसानों की दशा को सुधारने के लिए 'कालिया योजना' शुरू की है. इस योजना के तहत राज्य के लघु एवं सीमांत किसानों को 10 हजार रुपये प्रतिवर्ष वित्तीय सहायता राशि फसल की उपज के लिए प्रदान की जाती है.
ओडिशा राज्य के किसान एवं खेतिहर मजदूर किसानों को रूपए 10 हजार रुपये की रबी एवं खरीफ की फसल के लिए साल में दो बार 5-5 हजार रुपये दी जाती हैं. इसका उपयोग किसान खेतों में फसल की उपज हेतु खाद, बीज, पानी और बिजली के खर्च के लिए देती हैं. वहीं, राज्य सरकार भूमिहीन किसानों को 12,500 रुपये की सहायता देती हैं. ये मछली पालन, बकरी पालन, मुर्गी पालन, मशरुम की खेती आदि के द्वारा अपनी जीविका निर्वाह के लिए प्रदान की जा रही हैं.

झारखंड 5 हजार दे रही

झारखंड की बीजेपी सरकार किसानों के लिए पिछले साल इनकम सपोर्ट प्रोग्राम शुरू किया है. झारखंड सरकार ने इस वित्त वर्ष से राज्य के 23 लाख मंझोले और सीमांत किसानों को प्रतिवर्ष 5000 रुपये प्रति एकड़ देने जा का फैसला किया है.

ममता सरकार 5 हजार दो किस्तों में

पश्चिम बंगाल की ममता बनर्जी सरकार ने राज्य में खेतिहर मजदूरों और किसानों के लिए दो योजनाओं की घोषणा कर रखी है. राज्य सरकार किसानों को दो किस्तों में 5 हजार रुपये प्रति एकड़ देने की बात कही है.

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