लक्ष्मण की 281 रन की पारी हू-ब-हू याद है: द्रविड़

बंगलुरु 
भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान राहुल द्रविड़ ने 2001 में ईडन गार्डन्स स्टेडियम में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ खेली गई वीवीएस लक्ष्मण की 281 रनों की पारी को अपने करियर का शानदार अनुभव बताया है। द्रविड़ ने कहा कि उस पारी को आज भी वह हू-ब-हूयाद कर सकता हूं। द्रविड़ ने यह बात लक्ष्मण की आत्मकथा '281 एंड बियोंड' के अनावरण के अवसर पर कही। इस दौरान द्रविड़ के अलावा अनिल कुंबले और जवागल श्रीनाथ भी मौजूद थे। वेबसाइट ईएसपीएनक्रिकइंफो ने द्रविड़ के हवाले से लिखा है, 'मैं आज भी इसकी कल्पना करता हूं कि वह कैसे शेन वॉर्न के खिलाफ लेग स्टंप से हटकर, आगे बढ़कर कवर की तरफ गेंद को मार रहे थे। वह ऐसा तब भी आसानी से करते थे, जब गेंद लेग स्टंप से काफी दूर टप्पा खाती थी।' 

उन्होंने कहा, 'ग्लेन मैकग्रा और जैसन गिलेस्पी की गेंदों को वह शानदार तरीके से ड्राइव कर रहे थे। जिस तरह से उन्होंने यह पारी खेली। मुझे लगता है उन्हें बल्लेबाजी करते देखना मेरे लिए शानदार अनुभव रहा। मैं जिस समय मैदान पर उतरा उस समय लक्ष्मण 90 रन बना चुके थे।' द्रविड ने उस मैच में 180 की पारी खेली थी और लक्ष्मण के साथ 5वें विकेट के लिए 376 रन की साझेदारी की थी। 

पूर्व कप्तान ने कहा, 'मेरा काम सिर्फ यही था कि मैं एक रन लेकर उनको स्ट्राइक दूं ताकि वह अपना शतक पूरा कर सकें। मैं उस सीरीज में अच्छा नहीं खेल रहा था क्योंकि शुरुआत अच्छी नहीं हुई थी। लेकिन लक्ष्मण की पारी देखने के बाद मेरे अंदर काफी आत्मविश्वास आया। वह एक शानदार दिन था।' 

लक्ष्मण ने कहा कि उन्होंने और द्रविड़ ने गेंद की योग्यता के हिसाब से बल्लेबाजी की और इस साझेदारी के दौरान दोनों के बीच ज्यादा बातचीत नहीं हुई। लेकिन अच्छा शॉट खेलने के बाद दोनों एक दूसरे का हौसला बढ़ाते थे। लक्ष्मण ने कहा, 'वह (द्रविड़) केवल मुझसे यही कहना चाहते थे कि 'तू खेल ना मामू, मैं हूं तेरे साथ।' 

द्रविड़ ने कहा, 'हमारे लिए वह काफी कठिन स्थिति थी। हम मौजूदा स्थिति के बारे में सोच रहे थे। हम सिर्फ गेंद को योग्यता के हिसाब से खेल रहे थे। हमारे पास बातचीत के लिए ज्यादा समय नहीं था। हम सिर्फ एक और ओवर खेलने के बारे में बात कर रहे थे।' 

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