मेरीकॉम के गले न मिलने से आहत जरीन बोलीं- जूनियर हूं, मुझसे बुरा बर्ताव किया

 
नई दिल्ली 

ओलंपिक क्वालिफायर ट्रायल्स के फाइनल में छह बार की वर्ल्ड चैम्पियन मेरीकॉम से तेलंगाना की युवा मुक्केबाज निकहत जरीन हार गईं. मेरीकॉम ने चीन में अगले साल होने वाले ओलंपिक क्वालिफायर के लिए भारतीय टीम में जगह बनाई. इस मैच के बाद हालांकि तेलंगाना मुक्केबाजी परिषद का विरोध प्रदर्शन चर्चा में आया. अपनी जीत के बाद भी मेरीकॉम निकहत जरीन से नाराज दिखीं.

बाक्सिंग हॉल के अंदर माहौल तनावपूर्ण रहा, क्योंकि जरीन (23 साल) ने ट्रायल की सार्वजनिक मांग कर विवाद खड़ा कर दिया था. मुकाबले के दौरान और रिंग के बाहर दोनों मुक्केबाजों के बीच बहस भी हुई. जब नतीजा घोषित किया गया तो जरीन के घरेलू राज्य तेलंगाना मुक्केबाजी संघ के कुछ प्रतिनिधि इसका विरोध करने लगे.

मेरीकॉम ने नहीं मिलाया हाथ

मैच के बाद मेरीकॉम ने कहा कि मुझे ऐसे लोग बिल्कुल पसंद नहीं हैं. दोनों के बीच आज हुए ट्रायल मैच के बाद चैम्पियन बॉक्सर मेरीकॉम ने युवा निकहत जरीन से हाथ मिलाने से इनकार कर दिया. जब मेरीकॉम से इस पर सवाल पूछा गया तो उन्होंने कहा कि मुझे उनसे हाथ मिलाने की जरूरत क्यों है? अगर वह दूसरों से सम्मान की अपेक्षा रखती हैं तो दूसरों का सम्मान करना भी आना चाहिए.

मेरीकॉम ने कहा, ‘मैंने यह विवाद खड़ा नहीं किया. मैंने ऐसा कभी नहीं कहा कि मैं ट्रायल के लिए नहीं आऊंगी. इसलिए मैं बर्दाश्त नहीं कर सकती, जब कोई आरोप लगाएगा कि यह मेरी गलती थी. यह मेरी गलती नहीं थी और मेरा नाम इसमें नहीं घसीटा जाना चाहिए.’

आहत हुईं जरीन

इस मामले पर जरीन ने कहा, ‘मेरीकॉम ने जैसा बर्ताव किया, उससे मैं आहत हूं. मैं जूनियर हूं, मुकाबला खत्म होने के बाद अगर वह गले लग जाती तो यह अच्छा होता. लेकिन मैं कोई टिप्पणी नहीं करना चाहती.’

तेलंगाना मुक्केबाजी संघ के प्रतिनिधित्व कर रहे एपी रेड्डी ने इस फैसले का जोरदार विरोध किया. भारतीय मुक्केबाजी महासंघ के अध्यक्ष अजय सिंह ने बीच में आकर हालात नियंत्रित किए. अजय सिंह ने उन्हें रिंग के पास से हटने को कहा और निराश जरीन ने खुद उन्हें शांत किया. रेड्डी ने बाद में पत्रकारों से कहा, ‘इस तरह की राजनीति में मुक्केबाजी आगे कैसे बढ़ेगी.’

अजय सिंह ने कहा, ‘मेरीकॉम के बारे में कोई क्या कह सकता है, यह हमेशा ही कम होगा. वह प्रतिभाशाली मुक्केबाज हैं. जहां तक निकहत जरीन की बात है तो वह भविष्य के लिए अच्छी उम्मीद है और उन्होंने इस मुकाबले में भी प्रभावित किया.’

क्या है पूरा मामला ?

पिछले कुछ समय से दोनों के बीच तकरार चल रही है. निकहत जरीन ने कई बार इस चैम्पियन बॉक्सर पर यह आरोप लगाए हैं कि उनके चलते बॉक्सिंग में उनकी अनदेखी की जाती है. दरअसल, रूस में खेली गई वर्ल्ड चैम्पियनशिप में मेरीकॉम ने 51 किलोग्राम भारवर्ग में कांस्य जीता था. इस जीत के बाद अजय सिंह ने मेरीकॉम को ओलंपिक क्वालिफायर में सीधे भेजने की बात कही थी जो बीएफआई के नियमों के उलट थी.

बीएफआई ने सितंबर में जो नियम बनाए थे उनके मुताबिक वर्ल्ड चैम्पियनशिप में स्वर्ण या रजत पदक जीतने वाली खिलाड़ियों को ही ओलंपिक क्वालिफायर के लिए डायरेक्ट एंट्री मिलेगी और जिस भारवर्ग में भारत की मुक्केबाज फाइनल में नहीं पहुंची हैं, उस भारवर्ग में ट्रायल्स होगी.

बीएफआई अपने पुराने नियमों पर लौट ट्रायल्स आयोजित कराने पर राजी हो गईं. इस बीच मेरीकॉम ने हमेशा कहा था कि वह बीएफआई की चयन प्रक्रिया के साथ हैं. उन्होंने हालांकि अन्य खेलों का बहाने देकर ट्रायल्स से बचने की भी कोशिश की थी. उन्होंने कहा था कि अन्य खेलों जैसे बैडमिंटन में कौन ट्रायल देता है? क्या आपने साइना नेहवाल और पीवी सिंधु को ट्रायल्स देते हुए देखा है, लेकिन हमारे मामले में यह अलग है.'

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